नयी दिल्ली , अक्टूबर 07 -- रक्षा मंत्री राजनाथ सिंह ने जोर देकर कहा है कि अब युद्ध के मैदान बदल रहे हैं और आने वाले युद्ध एल्गोरिदम, स्वचालित प्रणालियों और कृत्रिम बुद्धिमत्ता से लड़े जाएंगे। ऑपरेशन सिंदूर का उदाहरण देते हुए उन्होंने कहा कि अब ड्रोन, ड्रोन रोधी प्रणाली और लेजर आधारित हथियार भविष्य को परिभाषित करेंगे।
रक्षा मंत्री ने मंगलवार को विज्ञान भवन में राष्ट्रीय सम्मेलन के उद्घाटन से पहले 'रक्षा नवाचार संवाद: आईडेक्स स्टार्टअप के साथ बातचीत' के दौरान उन्होंने नवाचार करने वालों से मौजूदा समाधानों से आगे सोचने और युद्ध को नई परिभाषा देने वाली तकनीकों का विकास करने का आग्रह किया। उन्होंने कहा,'हमें तकनीक में न तो नकलची बने रहना चाहिए और न ही अनुयायी, बल्कि हमें दुनिया के लिए निर्माता और मानक-निर्धारक बनना चाहिए।"प्रौद्योगिकी के क्षेत्र में आगे बढने का आह्वान करते हुए उन्होंने कहा कि हमें अपनी परंपरागत ताकत और आधुनिक नवाचार को साथ लेकर आगे बढना होगा। उन्होंने कहा, " हमें यह प्रयास करना होगा, कि जहां-जहां प्रौद्योगिकी में कमी है उसे स्वदेशी समाधानों से दूर किया जाये और और जहां अत्याधुनिक प्रौद्योगिकी की आवश्यकता है, वहां हमारे युवा नवाचारी स्टार्ट अप समाधान लेकर आएं। हम एक एक नया भारत तभी बना पाएँगे, जब हम परंपरागत ताकत और आधुनिक नवाचार को साथ लेकर आगे बढ़ें। "रक्षा मंत्री ने कहा कि रक्षा क्षेत्र में अवसरों की कमी नहीं है और राज्यों को इच्छाशक्ति दिखाते हुए अपने यहां रक्षा इकोसिस्टम को मजबूत करने के लिए आगे आना चाहिए। उन्होंने कहा , " यदि आपके पास इच्छा शक्ति है, सही नीतियां हैं, कुशल जनशक्ति हैं, और देशहित में कुछ नया करने का संकल्प है, तो रक्षा क्षेत्र में अवसरों की कोई कमी नहीं है। इसलिए मैं आप सभी से अपेक्षा करता हूं, कि आप रक्षा गलियारों से कहीं आगे बढ़ते हुए, अपने-अपने राज्यों में रक्षा इकोसिस्टम को मजबूत करने के लिए नए विचार और नई योजनाओं की ओर आगे बढ़ें। रक्षा मंत्रालय हमेशा आपके साथ खड़ा हैं। "श्री सिंह ने रक्षा क्षेत्र में स्वदेशीकरण में उल्लेखनीय प्रगति का उल्लेख करते हुए कहा कि घरेलू स्रोतों से रक्षा पूंजी अधिग्रहण 2021-22 में 74,000 करोड़ रुपये से बढ़कर 2024-25 में 1.2 लाख करोड़ रुपये हो गया है। उन्होंने इस बदलाव को 'केवल एक सांख्यिकीय परिवर्तन नहीं, बल्कि निर्भरता से आत्मविश्वास की ओर मानसिकता में बदलाव' बताया।
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