हैदराबाद , अक्टूबर 23 -- केंद्रीय गृह राज्य मंत्री बंदी संजय कुमार ने गुरुवार को तेलंगाना के पुलिस महानिदेशक से गौरक्षक मामले में अपनी टिप्पणी के लिए माफ़ी मांगने और गौरक्षक प्रशांत सिंह (उर्फ सोनू सिंह) पर गोली चलाये जाने के मामले में त्वरित कार्रवाई की मांग की।
प्रशांत सिहं पर कथित तौर पर वध के लिए ले जायी जा रही गायों को रोकने की कोशिश करते समय तेलंगाना के घाटकेसर में बुधवार को गोली चलायी गयी थी, जिसमें वह गंभीर रूप से घायल हो गये थे।
बंदी संजय कुमार, राज्यसभा सांसद के. लक्ष्मण, पायला शंकर, गंगिडी मनोहर रेड्डी और जे. संगप्पा के साथ प्रशांत सिंह का हालचाल जानने के लिए आज सिकंदराबाद के यशोदा अस्पताल दौरा किया। भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) नेताओं ने पूर्ण सहयोग का वादा करते हुए कहा कि भाजपा घायल व्यक्ति के इलाज का पूरा खर्च वहन करेगी।
उन्होंने संवाददाताओं से बातचीत के दौरान ऑल इंडिया मजलिस-ए-इत्तेहादुल मुस्लिमीन (एआईएमआईएम) नेता इब्राहिम पर हमले में इस्तेमाल की गयी रिवॉल्वर रखने का आरोप लगाया और सवाल किया कि यह हथियार उनके हाथ में कैसे आया। उन्होंने कहा कि गोहत्या कानून को लागू करने में पुलिस की विफलता उन लोगों को दोषी ठहराने का औचित्य नहीं हो सकती, जो इस प्रथा को रोकने की कोशिश करते हैं। उन्होंने डीजीपी से इस संबंध में की गयी अनुचित टिप्पणी को वापस लेने की मांग की।
श्री बंदी संजय ने आरोप लगाया कि कांग्रेस सरकार के कार्यकाल में 'गुंडों और उपद्रवियों' का हौसला बढ़ रहा है। उन्होंने दावा किया कि भारत राष्ट्र समिति के शासन काल में भी ऐसा ही पैटर्न दिखा था। उन्होंने चेतावनी दी कि अगर गोहत्या करने वालों को नहीं पकड़ा गया, तो बजरंग दल के कार्यकर्ता 'चुप नहीं बैठेंगे'।
श्री लक्ष्मण ने कानून-व्यवस्था पर चिंता व्यक्त करते हुए कहा कि राज्य में हिंसा और पुलिस पर हमले बढ़े हैं। इससे राज्य में शासन व्यवस्था प्रभावित हुई है। उन्होंने गोलीबारी की निष्पक्ष जांच और पुलिस से जवाबदेही तय करने का आग्रह किया।
भाजपा नेताओं ने भी उन मीडिया रिपोर्टों का खंडन किया, जिनमें कहा गया था कि प्रशांत सिंह ने पैसे की मांग की थी। उन्होंने ऐसे दावों को झूठा बताया और उन अधिकारियों के खिलाफ कार्रवाई की मांग की जो गलत सूचना फैला रहे थे। उन्होंने इस बात पर स्पष्टता की भी मांग की कि रिवॉल्वर कौन लाया। साथ ही उन्होंने इसमें शामिल सभी लोगों से पूछताछ की भी मांग की।
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