नयी दिल्ली, सितंबर 25 -- दिल्ली की मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता ने गुरुवार को कहा कि दिल्ली की स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को अब ऐसा रोल मॉडल बनाया जाएगा जहां हर नागरिक, चाहे वह अमीर हो या गरीब हो सभी को आधुनिक तकनीक, सस्ती दवाइयां, मुफ्त जांच की सुविधा के साथ गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध हों।
श्रीमती गुप्ता और स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर पंकज कुमार सिंह ने प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के जन्मदिन के उपलक्ष्य में आयोजित सेवा पखवाड़े के अवसर पर आज एक विशेष कार्यक्रम में स्वास्थ सेवाओं से जुड़ी कई महत्वपूर्ण योजनाओं का शुभारंभ किया। इनमें टीबी की आधुनिक जांच के लिए 40 ट्रूनेट मशीनें, 10 पैथोडिटेक्ट मशीनें, 27 हैंडहेल्ड एक्स-रे मशीन, 11 नई कैट्स एंबुलेंस, ऑनलाइन अंगदान पोर्टल के साथ ही चाचा नेहरू बाल चिकित्सालय में जिला प्रारंभिक हस्तक्षेप केंद्र भी शामिल हैं।
इस अवसर पर मुख्यमंत्री ने ऑनलाइन अंगदान पोर्टल का शुभारंभ करते हुए अंगदान को जीवन बचाने का एक पवित्र कार्य बताया। उन्होंने बताया कि दिल्ली के सरकारी अस्पतालों में 150 नई डायलिसिस मशीनें पीपीपी मॉडल पर लगाई गई हैं, जिससे डायलिसिस मशीनों की क्षमता बढ़कर 300 हो गई है। आज 11 नई कैट्स एंबुलेंस को जोड़ने के बाद दिल्ली में कुल 277 कैट्स एम्बुलेंस जनता की सेवा के लिए उपलब्ध हैं। अक्टूबर महीने तक 53 और नई बेसिक लाइफ सपोर्ट एम्बुलेंस सेवा से जुड़ जाएंगी, जिससे एंबुलेंस के बेड़े की संख्या हमारी सरकार के दीर्घकालिक लक्ष्य 1000 के बेहद करीब तक पहुंच जाएगी।
उन्होंने बताया कि चाचा नेहरू बाल चिकित्सालय में जिला प्रारंभिक हस्तक्षेप केंद्र की शुरुआत की गई हैजो शिशुओं में विकास से संबंधी जांच और प्रारंभिक उपचार पर केंद्रित होगा। मुख्यमंत्री ने कहा कि दिल्ली की स्वास्थ्य सेवा प्रणाली को अब ऐसा रोल मॉडल बनाया जाएगा, जहां हर नागरिक, चाहे वह अमीर हो या फिर गरीब हो, सभी को आधुनिक तकनीक, सस्ती दवाइयां, मुफ्त जांच की सुविधा के साथ गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाएं उपलब्ध हों। उन्होंने कहा कि प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी हमेशा कहते हैं कि मानव सेवा ही सबसे बड़ा धर्म है। उनकी सरकार इन पहलों के जरिए यह सुनिश्चित करने में जुटी है कि मूलभूत स्वास्थ्य सेवाएं दिल्ली के प्रत्येक नागरिक और राजधानी के हर घर तक पहुंचे।
दिल्ली के स्वास्थ्य मंत्री डॉक्टर पंकज कुमार सिंह ने सरकार बनने के बाद स्वास्थ्य के क्षेत्र में सात महीनों में हुई प्रगति पर प्रकाश डालते हुए कहा कि केवल 167 दिनों में दिल्ली में 168 आयुष्मान आरोग्य मंदिर बनाए गए हैं, जो सस्ती, सुलभ और गुणवत्तापूर्ण प्राथमिक स्वास्थ्य सेवाओं का रोल मॉडल बन गए हैं।
उन्होंने कहा कि दिल्ली के इतिहास में पहली बार 1300 नर्सों और मेडिकल सुपरिटेंडेंट्स की स्थायी नियुक्ति की गई है। सरकारी अस्पतालों के लिए दवाइयों की खरीद अब सीधे केंद्रीय खरीद एजेंसी (सीपीए) के माध्यम से बेहद पारदर्शी तरीके से की जा रही है, जिससे भ्रष्टाचार के साथ ही खरीद में होने वाली देरी पर पूरी तरह से रोक लग गई है। सरकारी अस्पतालों में डायलिसिस मशीनों की क्षमता को 300 मशीनों तक बढ़ाकर दोगुना करने का काम किया है। सभी अस्पतालों में बेड बढ़ाए गए और दवाओं की पारदर्शी खरीद सुनिश्चित की गई। यह सभी उपलब्धियां मुख्यमंत्री रेखा गुप्ता के कुशल नेतृत्व के चलते ही संभव हो पाई हैं, जिन्होंने गुणवत्तापूर्ण स्वास्थ्य सेवाओं को दिल्ली की प्रत्येक जनता का अधिकार बनाया है।
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