नयी दिल्ली, सितम्बर 29 -- राष्ट्रीय जैव विविधता प्राधिकरण-एनबीए ने आंध्र प्रदेश जैव विविधता बोर्ड को स्थानिक पादप प्रजाति के लाल चंदन के संरक्षण के लिए 82 लाख रुपये की राशि स्वीकृत की है।
यह राशि एनबीए ने दी है और इसकी पहल का उद्देश्य लाल चंदन के एक लाख पौधे उगाना है, जिन्हें बाद में किसानों को उपलब्ध कराया जाएगा। इस पहल को एक विशिष्ट प्रजाति के लाल चंदन के संरक्षण की दिशा में महत्वपूर्ण कदम बताया जा रहा है।
एबीएस तंत्र जैविक संसाधनों तक पहुंच को विनियमित कर स्थानीय समुदायों, व्यक्तियों और जैव विविधता प्रबंधन समितियों सहित लाभार्थियों के साथ आमदनी का उचित और न्यायसंगत बंटवारा सुनिश्चित करता है।
मूल रुप से आंध्र प्रदेश के दक्षिणी पूर्वी घाटों में स्थित और विशेष रूप से अनंतपुर, चित्तूर, कडप्पा और कुरनूल जिलों में पाया जाने वाला लाल चंदन, अपने उच्च व्यावसायिक मूल्य के कारण भारी संकट में है। अपनी विशिष्ट महत्ता के कारण इस चंदन की व्यापक स्तर पर तस्करी हो रही है जबकि यह प्रजाति वन्यजीव संरक्षण अधिनियम 1972 के तहत संरक्षित है और लुप्तप्राय प्रजातियों के अंतरराष्ट्रीय व्यापार पर हुई संधि -सीआईटीईएस के अंतर्गत सूचीबद्ध है, जो इसके अंतर्राष्ट्रीय व्यापार को सख्ती से नियंत्रित करता है।
आधिकारिक तौर बताया गया है कि यह पहल न केवल देश के राष्ट्रीय जैव विविधता लक्ष्यों को सुदृढ़ करती है, बल्कि वैश्विक स्तर पर जैव विविधता सम्मेलन के प्रति भी देश की प्रतिबद्धता को मजबूत करती है।
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