हल्द्वानी, अक्टूबर 11 -- हल्द्वानी। पति की लंबी उम्र के बाद, अब संतान के सुनहरे भविष्य, दीर्घायु और निरोगता की कामना के लिए 'अहोई अष्टमी' का निर्जला व्रत 13 अक्तूबर यानी सोमवार को रखा जाएगा। ज्योतिषी अशोक वार्ष्णेय के अनुसार, यह व्रत कार्तिक मास के कृष्ण पक्ष की अष्टमी को पड़ता है। इस बार 13 अक्तूबर को अष्टमी तिथि का आगमन दोपहर 12:24 बजे हो रहा है। इस दिन शिव, सिद्ध, परिध और रवि योग बन रहे हैं, जो पूजा के लिए अत्यंत शुभ फलदायक हैं। व्रती महिलाएं भगवान शिव, माता पार्वती और माता अहोई की पूजा करेंगी। पूजा का शुभ मुहूर्त शाम 5:58 बजे से 7:10 बजे तक है। व्रत का पारण तारों के दर्शन के बाद किया जाएगा, जिसका समय शाम 6:09 बजे पर है, जबकि चंद्रोदय रात 11:10 बजे के आसपास होगा।
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