भागलपुर, अप्रैल 6 -- त्रिवेणीगंज। कृषि विभाग के तकनीकी पदाधिकारी पंकज कुमार ने शनिवार को प्रखंड कृषि कार्यालय में बताया कि मौसम के बदलते मिजाज को देखते हुए अब किसान 10 से 15 साल पहले वाली खेती के तरीकों में बदलाव करें, तभी वह कम खर्च में खेती से अधिक कमाई कर सकते हैं। कहा कि किसान किसी भी सूरत में फसल के बचे अवशेष को खेत में नहीं जलाएं। इससे खेतों की उर्वरा शक्ति घटती है। फसल अवशेष को पशु चारा में उपयोग करें, अन्यथा वर्मी कम्पोस्ट बनाने भी उपयोग कर सकते हैं। कहा कि किसान रसायनिक खाद का इस्तेमाल नहीं करें। इससे खेतों की उर्वरा शक्ति घटती है। कहा कि कृषि विभाग किसानों को समृद्ध बनाने को लेकर कृषि यंत्र में अनुदान दे रही है। कोई भी कृषि यंत्र किसान अगर लेंगे तो उन्हें निर्धारित राशि का ही भुगतान करना है।

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