मिर्जापुर, नवम्बर 4 -- हलिया। स्थानीय विकास खंड के गलरा गांव में आयोजित श्रीमद्भागवत महापुराण सप्ताह ज्ञान यज्ञ के छठवें दिन गोरखपुर के कथावाचक पं. प्रभानाथ मिश्र ने महारास लीला, इंद्र के अहंकार को चूर करने की कथा व रूक्मिणी विवाह सहित भगवान कृष्ण के महारास लीलाओं का वर्णन किया। उन्होंने कहा कि इंद्र के अहंकार को चूर करने के लिए भगवान कृष्ण ने इंद्र की पूजा को बंद करा दिया, जिससे क्रोधित होकर इंद्र ने अनेक प्रतिक्रियाएं कीं, जिसको भगवान ने निष्फल कर दिया। क्रोधित होकर इंद्र घनघोर जलवर्षा शुरू कर दी। जनमानस की रक्षा के लिए गोवर्धन पर्वत को भगवान कृष्ण ने उंगली पर उठा कर बृजवासियों की रक्षा की, जिससे इंद्र का अहंकार चूर हो गया। अंत में शरणागत होना पड़ा। कथावाचक ने कहा कि दोनों हाथ उपर कर शरणागत होने पर भगवान उसे अपना लेते हैं। इसके बाद गोपि...