लखीमपुरखीरी, अगस्त 20 -- स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के परिजनों ने डीएम को पत्र लिखकर विलोबी मेमोरियल ट्रस्ट और उससे जुड़े मैदान, हाल, मार्केट सहित सभी स्थलों से अंग्रेज अफसर विलोबी का नाम हटाने की मांग की है। स्वतंत्रता सेनानी के आश्रितों ने बताया कि आजादी की लड़ाई के दौरान नसीरुद्दीन, मासूक और बसीर ने तत्कालीन अंग्रेज जिलाधिकारी विलोबी को मौत के घाट उतारा था। इसके बाद अंग्रेज सरकार ने वर्ष 1924 में विलोबी मेमोरियल ट्रस्ट की स्थापना कर दी थी। तीनों सेनानियों को 1920 में ही फांसी दे दी गई थी, जिन्हें बाद में उत्तर प्रदेश सरकार ने शहीद का दर्जा प्रदान किया। देश की आज़ादी के 78 साल बाद भी अंग्रेज अधिकारी के नाम पर ट्रस्ट और संस्थान चलना शर्मनाक है। मांग पत्र पर स्वतंत्रता संग्राम सेनानियों के आश्रितों नन्द कुमार मिश्रा, राजकिशोर दिक्षित, म...