फर्रुखाबाद कन्नौज, मई 16 -- पांचालघाट की तरबूज की अस्थायी मंडी में रोजाना ही 40 से 50 ट्रैक्टर और 50 बैलगाड़ियों से तरबूज विभिन्न क्षेत्रों से आता है। सबसे अधिक तरबूज अस्थायी मंडी में यहीं से पहुंचता है। जो किसान तरबूज पैदा करते हैं वही कारोबार भी करते हैं। हालांकि इस बार तरबूज कारोबारी खासे विचलित हैं। क्योंकि उन्हें रेट ही सही नहीं मिल पा रहे हैं। लोगोंं ने बड़ी मेहनत के साथ दोतरफा मार के बीच फसल तैयार की। सोचा था कि अच्छा खासा मुनाफा हो जाएगा पर स्थिति विपरीत हो गई। शुुरुआत में जरूर तरबूज अच्छी स्थिति में था। अब तो तरबूज पांच रुपये किलो के हिसाब से बिक रहा है। आपके अपने अखबार 'हिन्दुस्तान से चर्चा के दौरान तरबूज कारोबारी राधेश्याम कहते हैं कि गंगा और रामगंगा की रेती में पालेज तैयार करते समय भारी दिक्कतों का सामना करना पड़ा और जब फसल बिक्र...