इटावा औरैया, मार्च 31 -- नौकरी की अनिश्चितता के बावजूद जिले में जूनियर हाईस्कूल में 130 अनुदेशक अपनी सेवाएं दे रहे हैं। अनुदेशक छात्रों को बेहतर शिक्षा ही नहीं दे रहे बल्कि खेलों में भी दक्ष बना रहे हैं। इसके बाद भी उन्हें महज नौ हजार रुपये मानदेय मिल रहा है। बड़ी समस्या यह है कि मानदेय समय पर नहीं मिलता । अपने हुनर का पूरा प्रयोग करने के बावजूद समय से मानदेय न मिलने से अनुदेशकों का मनोबल भी टूट रहा है। आपके अपने अखबार 'हिन्दुस्तानसे चर्चा के दौरान अनुदेशकों ने एक सुर में कहा की एक तो मानदेय काफी कम है ऊपर से यह समय से नहीं मिलता है। जिले के जूनियर हाई स्कूल के छात्रों का भविष्य बनाने की जद्दोजहद में लगे 130 अनुदेशकों को खुद सुरक्षित भविष्य की तलाश है। अनुदेशक रणधीर सिंह का कहना है कि काम तो पूरा लिया जा रहा है पर मानदेय नौ हजार रुपये ही म...
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