आजमगढ़, मार्च 3 -- समाज के अत्यंत गरीब तबके के बच्चों को पढ़ाने के उद्देश्य से ग्रामीण इलाकों में समाज कल्याण विभाग ने अनुसूचित जाति और अंबेडकर विद्यालयों की स्थापना की। इन भवनों के निर्माण एवं मरम्मत का कार्य प्रबंध समिति को सौंपा गया। विभाग के ऊपर सिर्फ शिक्षकों को तनख्वाह देने की जिम्मेदारी थी। इन विद्यालयों के शिक्षकों का वेतन और एरियर का लाखों रुपये का बकाया है। इन विद्यालयों के बच्चों को नि:शुल्क ड्रेस-किताबें भी नहीं मिल पाती हैं। शिक्षकों का कहना है कि अफसरों की बेरूखी के चलते समस्याएं हैं। कुंवर सिंह उद्यान में 'हिन्दुस्तान से बातचीत में उत्तर प्रदेशीय सहायता प्राप्त अनुसूचित जाति प्राथमिक शिक्षक एसोसिएशन के जिलाध्यक्ष हंसराज यादव ने बताया कि अफसर हमारी समस्याओं पर ध्यान नहीं देते हैं। परिषदीय विद्यालयों के बच्चों को कई सुविधाएं ...
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