बुलंदशहर, नवम्बर 8 -- सड़क और राजमार्गों पर आवारा पशुओं की बढ़ती संख्या पर सुप्रीम कोर्ट ने सख्त रुख अपनाया है। शीर्ष अदालत ने शुक्रवार को निर्देश जारी किए हैं कि सड़कों, राजमार्गों और एक्सप्रेसवेज से आवारा पशुओं को तुरंत हटाया जाए और उन्हें आश्रय स्थलों में पुनर्वासित किया जाए। अदालत ने कहा कि यह न केवल आमजन की सुरक्षा का मामला है, बल्कि सड़क सुरक्षा और सार्वजनिक स्वास्थ्य से भी जुड़ा गंभीर मुद्दा है। अदालत ने कहा कि शैक्षणिक संस्थानों, अस्पतालों, पार्कों, स्टेडियमों और रेलवे स्टेशनों जैसे सार्वजनिक स्थानों पर भी आवारा कुत्ते और अन्य पशु नहीं दिखने चाहिए। राज्य सरकारों को दो हफ्ते में ऐसे स्थलों की पहचान कर वहां बाड़ (फेंसिंग) लगाने के निर्देश दिए गए हैं, ताकि इन जगहों पर आवारा पशु प्रवेश न कर सकें। जनपद की बात करें तो आश्रय स्थल होने के बावजू...