संतकबीरनगर, जुलाई 9 -- संतकबीरनगर, निज संवाददाता। रूठे मानसून का खामियाजा आम आदमी ही नहीं पशु पक्षियों पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ने लगा है। दिन में 11 बजे के बाद से ही गो आश्रय स्थल के पशु हांफने लग रहे हैं। नीलगाय सहित दूसरे छुट्टा जानवर भी पानी वाले तालाब के पास अपना ठिकाना बना रहे हैं। बारिश न होने की वजह से तापमान में भी इजाफा हो रहा है। यही कारण है कि तापमान बढ़ने की वजह से जानवर हांफने लग रहे हैं। पिछले एक सप्ताह से बारिश पूरी तरह से रूठी हुई है। बारिश न होने से अब धान की फसलें मुरझाने लगी हैं। पशु पक्षियों के साथ पशुओं पर भी प्रतिकूल प्रभाव पड़ रहा है। सबसे अधिक प्रतिकूल प्रभाव दुधारू पशु और गर्भवती गाय और भैस पर पड़ रहा है। इसकी वजह से दुग्ध उत्पादन क्षमता कम हो गई है। इससे पशु पालकों को हानि हो रही है। मुख्य पशु चिकित्साधिकारी डा....
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