मथुरा, अक्टूबर 1 -- आर्थिक रूप से कमजोर होने के बाद भी नारी शक्ति ने आज पुरुष प्रधान समाज के बीच खुद को स्थापित किया है। स्ववित्त पोषित समूहों के माध्यम से महिलाएं आज अपने परिवारों का जहां संचालन कर रही हैं, वहीं उन्होंने समाज में अपना अलग स्थान बनाया है। ऐसी महिला शक्ति हर किसी के लिए प्रेरणास्रोत बन रही हैं। घर-गृहस्थी के साथ-साथ समाज के संचालन की कमान भी वे संभालने के लिए आगे आ रही हैं। देश व समाज की तरक्की आज महिला शक्ति के बिना संभव नहीं है। हिन्दुस्तान के बोले मथुरा अभियान में ऐसी ही महिला शक्तियों ने शिरकत की। आर्थिक संकट हो या परिवार की विपरीत परिस्थित या फिर सामाजिक बंधन। नारी ने हर किसी से संघर्ष करते हुए खुद को एक शक्ति के रूप में साबित करने का काम किया है। सिलाई-कढ़ाई से लेकर घरेलू उत्पादों के निर्माण के अपने शौक को अपनी आर्थिक...