नई दिल्ली, सितम्बर 17 -- ...तो फिर कोशिश नहीं करती : पूजा रानी नई दिल्ली। अनुभवी मुक्केबाज पूजा रानी ने सोच लिया था कि अगर विश्व मुक्केबाजी में चौथी बार भी वह पदक नहीं जीत सकीं तो दोबारा कोशिश नहीं करेंगी। लेकिन भिवानी की 34 वर्षीय इस मुक्केबाज ने लिवरपूल में 80 किलो वर्ग में कांस्य पदक जीता। टोक्यो ओलंपिक खेल चुकीं पूजा ने कहा, इस बार भी मैंने खुद से कहा था कि अगर नहीं जीती तो दोबारा नहीं खेलूंगी। मैं हमेशा शत-प्रतिशत देती हूं, लिहाजा हारने पर दिल टूट जाता है। मैंने चार-पांच महीने से कड़़ा अभ्यास किया था और मुझे खुशी है कि मेहनत रंग लाई। उन्होंने कहा, मैंने पहली बार पदक जीता, यह खास है। पूजा ने पिछला एक साल 75 किलो से 80 किलो में जाने पर लगाया। अब उनकी नजरें 2028 लॉस एंजिल्स ओलंपिक चक्र पर हैं। उन्होंने कहा, मैं सोच रही हूं कि अब 70 किलो...