बैतूल , अक्टूबर 10 -- मध्यप्रदेश में बैतूल जिले की मुलताई पुलिस को एक बड़ी सफलता मिली है। वर्ष 2020 में हुई हत्या के चिन्हित प्रकरण में न्यायालय ने दो आरोपियों को आजीवन कारावास और एक आरोपी को सात वर्ष की सजा सुनाई है। यह फैसला पुलिस की तत्पर जांच, मजबूत साक्ष्य संकलन और अभियोजन की प्रभावी पैरवी का परिणाम माना जा रहा है।

मामला ग्राम सिरडी का है, जहां 28 अक्टूबर 2020 को किसान आनंदराव देशमुख खेत पर गए थे और वापस नहीं लौटे। अगले दिन उनके पुत्र निकलेश देशमुख ने थाना मुलताई में रिपोर्ट दर्ज कराई। प्रारंभिक जांच में यह मामला गुमशुदगी का प्रतीत हुआ, लेकिन जांच गहराने पर पुलिस ने संदेही प्रमोद मगरदे को हिरासत में लेकर पूछताछ की तो सनसनीखेज खुलासा हुआ।

आरोपी प्रमोद ने स्वीकार किया कि पुराने विवाद और बदले की भावना से उसने अपने पिता भीमराव मगरदे और भाई दिलीप मगरदे के साथ मिलकर आनंदराव देशमुख की हत्या की थी। आरोपियों ने मृतक को घर बुलाकर रस्सी से गला घोंट दिया और शव को बोरी में भरकर बैलगाड़ी से ग्राम पीपलपानी के खेत के कुएं में फेंक दिया था।

प्रकरण की जांच में सीन ऑफ क्राइम प्रभारी निरीक्षक आबिद अंसारी और थाना प्रभारी मुलताई निरीक्षक देवकरण डेहरिया की अहम भूमिका रही। अभियोजन पक्ष से एडीपीओ श्रीमती मालिनी देशराज ने प्रभावी पैरवी की।

मुलताई न्यायालय ने गुरुवार को फैसला सुनाते हुए प्रमोद मगरदे और भीमराव मगरदे को आजीवन कारावास तथा दिलीप मगरदे को सात वर्ष के कारावास की सजा सुनाई। यह फैसला पुलिस की मेहनत, साक्ष्यों की मजबूती और न्यायिक प्रणाली में जनता के भरोसे की मिसाल बना है।

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