नयी दिल्ली , नवंबर 24 -- ेन्द्रीय कृषि मंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कहा है कि स्मार्ट, सतत और लाभकारी कृषि विकसित भारत 2047 का आधार बनेगी इसलिए कृषि को कम संसाधनों में अधिक उत्पादन और बेहतर भविष्य के लिए ज्यादा संरक्षण देने की जरूरत है।
श्री चौहान ने तीन दिवसीय छठे अंतरराष्ट्रीय शस्य विज्ञान कांग्रेस की सोमवार को यहां पूसा परिसर में शुरुआत की। विज्ञान कांग्रेस में दुनिया के कई देशों से आये 1,000 से अधिक प्रतिनिधि हिस्सा ले रहे हैं।
उन्होंने देश में कृषि को ज्यादा उपयोगी बनाने के लिए वैज्ञानिकों से शोध का लाभ सीधे किसानों तक पहुंचाने का प्रयास करने का आह्वान करते हुए कहा कि शोध का मूल आधार किसानों की प्राथमिक समस्या का समाधान होना चाहिए। उन्होंने वैज्ञानिकों से बायो-फोर्टिफाइड तथा जीनोम-एडिटेड किस्में विकसित करने का आह्वान करते हुए कहा कि 2047 का आधार बनने के लिए किसानों, युवाओं और विज्ञान को मिलकर काम करने की जरूरत है।
श्री चौहान ने 'दलहन आत्मनिर्भरता मिशन' की महत्ता और देश में दलहन उत्पादन बढ़ाने एवं अधिक प्रयास की जरूरत पर बल दिया। उन्होंने कहा कि उन्हें पूरा भरोसा है कि आने वाले समय में देश दलहन के मामले में भी आत्मनिर्भर बनेगा। उन्होंने यह भी कहा कि दलहन-तिलहन में अन्य फसलों की तुलना में वायरस अटैक अधिक होता है इसलिए ऐसे प्रयास करने होंगे कि उत्पादन के साथ ही इसकी मात्रा खेत में बढ़े सके।
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