बारां , दिसम्बर 12 -- राजस्थान में बारां जिले के रामगढ़ क्रेटर क्षेत्र में पिछले 15 दिनों से कूनो मध्य प्रदेश से आए चीता केपी- 2 की मौजूदगी से इलाके में भय का माहौल है।

वन विभाग के सूत्रों ने शुक्रवार को बताया कि पिछले दिनों मध्यप्रदेश की सीमा के अंदर जाने के बाद चीता वापस राजस्थान के बारां जिले के रामगढ़ क्रेटर के आसपास गांव की तरफ लौट आया है। ग्रामीणों ने बताया है कि चीता केपी- 2 को रामगढ़ क्षेत्र के गांवों में देखा जा रहा है।

मध्यप्रदेश के कूनो नेशनल पार्क से निकलकर बारां जिले में पहुंचे चीता केपी-2 पिछले 15 दिनों से बारां जिले के रामगढ़ क्षेत्र में विचरण कर रहा है। यहां जंगल और पार्वती नदी होने से चीता के अनुकूल स्थिति है। यद्यपि, मध्यप्रदेश और राजस्थान के बारां जिले के वन विभाग के दल लगातार चीते के ठिकाने की निगरानी कर रहे हैं, लेकिन अच्च अधिकारियों के प्रभावी निर्देश नहीं मिलने से कोई ठोस निर्णय पर नहीं पहुंच पा रहे हैं।

ग्रामीणों का कहना है कि इन दिनों फसलों में सिंचाई का कार्य चल रहा है। रात के समय खेतों में जाने को लेकर लोग सतर्क रहते हैँ, लेकिन भय सताता है। वन विभाग को कोई फैसला नहीं कर पा रहा है कि इसे वापस कूनो के जंगलों में या फिर अन्यत्र भेजा जाए।

माना जा रहा है कि मध्यप्रदेश के कूनो नेशनल पार्क से निकलकर राजस्थान के बारां जिले के रामगढ़ क्रेटर क्षेत्र में पहुंचे चीता केपी-2 रामगढ़ क्रेटर में रहने के बाद एक बारगी मध्यप्रदेश की सीमा की तरफ बढ़कर वापस रामगढ क्षेत्र में लौट आया। इससे आभास होता है कि कूनो से आये चीते को रामगढ़ क्षेत्र का जल और जंगल रास आ गया है। यहां इसे सुलभता से शिकार मिल रहा है। दूसरी ओर रामगढ़ क्षेत्र के कई गांव पार्वती नदी के किनारे बसे हुए हैं, जिससे इसको पार्वती नदी की कराइयों में रहने में भी समस्या नहीं हो रही है। यह गांव के आसपास नदी के तीर पर ही खेतों में अपना बसेरा बनाए हुए है।

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