लखनऊ , नवम्बर 24 -- उत्तरप्रदेश सरकार ने आधार कार्ड की जन्मतिथि के प्रमाणपत्र के रूप में शामिल किए जाने पर रोक लगा दी है। सरकार ने स्पष्ट किया है कि आधार कार्ड को जन्मतिथि के प्रमाण के रूप में स्वीकार नहीं किया जाएगा। इस संबंध में शासन ने सभी विभागों को निर्देश जारी करते हुए कहा है कि किसी भी सरकारी प्रक्रिया, सेवा या प्रमाणन के लिए आधार कार्ड को जन्मतिथि का मान्य दस्तावेज न माना जाए।
विशेष सचिव, नियोजन विभाग अमित सिंह बंसल द्वारा जारी आदेश में कहा गया है कि भारतीय विशिष्ट पहचान प्राधिकरण (यूआईडीएआई) के लखनऊ क्षेत्रीय कार्यालय की रिपोर्ट के आधार पर यह निर्णय लिया गया है। यूआईडीएआई ने बीते 31 अक्टूबर 2025 को जारी अपने पत्र में स्पष्ट किया था कि आधार में दर्ज जन्मतिथि प्राधिकरण द्वारा सत्यापित नहीं होती, इसलिए इसे जन्मतिथि प्रमाण के रूप में उपयोग नहीं किया जा सकता।
पत्र में यह भी उल्लेख है कि कुछ विभागों द्वारा अब भी आधार कार्ड को जन्मतिथि के प्रमाण के रूप में स्वीकार किए जाने की शिकायतें मिल रही हैं। जिसे गंभीर मानते हुए शासन ने दोबारा स्पष्ट किया है कि राज्य सरकार के किसी भी विभाग में यह दस्तावेज जन्मतिथि प्रमाण की श्रेणी में मान्य नहीं होगा।
इस बाबत शासन ने संबंधित सभी अधिकारियों को निर्देशित किया है कि वे अपने विभागों को इस आदेश का पालन सुनिश्चित कराएं तथा किसी भी स्तर पर आधार कार्ड को जन्मतिथि के प्रमाण के रूप में स्वीकार न किया जाए।
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