अहमदाबाद , अकटूबर 07 -- गुजरात के स्वास्थ्य मंत्री ऋषिकेश पटेल ने मंगलवार को कहा कि देश को गुलामी की मानसिकता से बाहर लाने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने अनेक नूतन पहलें की हैं।
श्री पटेल ने यहां विकास प्रदर्शनी के उद्घाटन के मौके पर कहा कि जहां देश को स्वतंत्रता दिलाने के लिए कम ढाँचागत सुविधाओं के बीच महात्मा गांधी ने स्वदेशी अभियान शुरू किया था, वहीं आज विकसित राष्ट्र बनाने की ओर गतिशील हो रहे भारत को श्री मोदी ने स्वदेशी का मंत्र दिया है। उन्होंने विश्वास व्यक्त किया कि यह मंत्र देश के व्यापार घाटे को कम कर देश को आर्थिक समृद्धि दिलाने का राजमार्ग बनेगा।
उन्होंने कहा कि देश को गुलामी की मानसिकता से बाहर लाने के लिए प्रधानमंत्री ने अनेक नूतन पहलें की हैं। आज से 24 वर्ष पहले शुरू हुई विकास यात्रा के कारण आज हम यह विकास सप्ताह मना रहे हैं, जिसमें राज्य के किसान, पशुपालक, युवा; सभी जुड़े हैं। उनको संबोधित कर लिखा गया प्रत्येक पोस्टकार्ड केवल पत्र नहीं, बल्कि प्रत्येक गुजराती के हृदय की बात है। ऐसे में उन्होंने सभी से आज के इस अवसर को मंजिल नहीं, बल्कि केवल पड़ाव मानकर विकसित गुजरात से विकसित भारत के निर्माण के लिए स्वदेशी अपना कर योगदान देने की अपील की।
सहकारिता राज्य मंत्री एवं भारतीय जनता पार्टी (भाजप) प्रदेश अध्यक्ष जगदीश विश्वकर्मा ने इस अवसर पर सभी को वाल्मीकि जयंती की शुभकामनाएँ देते हुए कहा कि आज से 24 वर्ष पहले सात अक्टूबर 2001 को श्री मोदी ने गुजरात के मुख्यमंत्री के रूप में पहली बार शपथ लेकर सेवा, समर्पण एवं जन विश्वास के साथ सुशासन की यात्रा शुरू की थी।
उन्होंने कहा कि आज के डिजिटल युग में समग्र गुजरात ने और विशेषकर सहकारिता क्षेत्र के अनेक नागरिकों-परिवारों ने प्रधानमंत्री को पोस्टकार्ड लिखकर जीएसटी रिफॉर्म्स, आत्मनिर्भर भारत, स्वदेशी अभियान मुद्दों पर आभार व्यक्त करने का यह अनूठा अभियान शुरू किया है, जिसमें राज्य के 12 हजार गाँवों की 26 हजार मंडलियों के सभासदों, लगभग 5.50 लाख कॉलेज छात्रों तथा लगभग 1.25 लाख विद्यार्थियों ने भी पोस्टकार्ड लिखकर उनका आभार व्यक्त किया है।
उन्होंने कहा कि देश के 140 करोड़ भारतीय यदि स्वदेशी की ओर एक पग उठाएँ, तो भी देश को विकसित राष्ट्र बनने से कोई नहीं रोक सकेगा। ऐसे में उन्होंने सभी नागरिकों से आगामी त्योहारों में स्वदेशी खरीदारी को प्राथमिकता देकर आत्मनिर्भर भारत में अपना योगदान देने का अनुरोध किया।
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