बेमेतरा , अक्टूबर 15 -- छत्तीसगढ़ शासन के वित्त विभाग द्वारा जारी निर्देशानुसार अब सभी हितग्राही मूलक योजनाओं के लाभार्थियों के लिए ई-केवाईसी कराना अनिवार्य कर दिया गया है। इस परिपालन में महिला एवं बाल विकास विभाग ने महतारी वंदन योजना के हितग्राहियों का ई-केवाईसी कार्य शीघ्र पूर्ण कराने के निर्देश दिए हैं।

विभागीय जानकारी के अनुसार, प्रदेश में वर्तमान में 69 लाख 26 हजार 466 पात्र हितग्राही पंजीकृत हैं। इनमें से लगभग 4.25 लाख हितग्राहियों का ई-केवाईसी कार्य शेष है, जबकि शेष हितग्राही पहले ही सार्वजनिक वितरण प्रणाली (पीडीएस) के माध्यम से ई-केवाईसी करा चुके हैं।

बायोमेट्रिक आधारित ई-केवायसी की सुविधा को देखते हुए राज्य शासन ने यह कार्य सीएससी ई-गवर्नेंस सर्विसेस इंडिया लिमिटेड को सौंपा है। प्रदेशभर में लगभग 22 हजार सीएससी केंद्र संचालित हैं, साथ ही 4564 ग्राम पंचायतों में अटल डिजिटल केंद्र भी स्थापित हैं। इन सभी केंद्रों के माध्यम से हितग्राहियों का ई-केवायसी निःशुल्क कराया जाएगा।

विभाग ने निर्देश जारी किए हैं कि बिना उचित कारण किसी भी हितग्राही को परियोजना कार्यालय बुलाकर ई-केवायसी न कराया जाए। इस संबंध में सभी आंगनबाड़ी कार्यकर्ताओं एवं पर्यवेक्षकों को स्पष्ट मार्गदर्शन देने हेतु बैठक आयोजित की जाएगी। राज्य स्तर से जिलावार, विकासखंडवार, ग्रामवार और आंगनबाड़ी केंद्रवार हितग्राही सूची एवं एपीआई डेटा सीएससी राज्य प्रमुख को उपलब्ध कराया गया है, जिसके आधार पर संबंधित सीएससी ऑपरेटर कार्य करेंगे।

ई-केवायसी की पूरी प्रक्रिया पूर्णतः निःशुल्क और सुरक्षित होगी। सीएससी ऑपरेटरों को किसी भी स्थिति में हितग्राहियों से शुल्क न लेने के निर्देश दिए गए हैं। साथ ही यह भी सुनिश्चित किया गया है कि किसी भी हितग्राही की व्यक्तिगत जानकारी या डेटा बिना विभागीय अनुमति साझा नहीं किया जाएगा।

राज्य प्रमुख, सीएससी ई-गवर्नेंस सर्विसेस इंडिया लिमिटेड को निर्देशित किया गया है कि सभी केंद्रों पर पर्याप्त स्टाफ, उपकरण और इंटरनेट सुविधा सुनिश्चित की जाए ताकि कार्य में कोई बाधा न आए।

उन्होंने कहा कि जिन हितग्राहियों का ई-केवायसी लंबित रहेगा, उन्हें भुगतान तभी किया जाएगा जब उनका ई-केवाईसी पूर्ण होगा। इसलिए विभाग ने सभी हितग्राहियों से अपील की है कि वे निर्धारित समय सीमा में अपना ई-केवायसी अनिवार्य रूप से कराएं, ताकि उन्हें योजना का लाभ निरंतर प्राप्त हो सके।

पीडीएस के माध्यम से पूर्व में ई-केवाईसी कराए गए हितग्राहियों के सत्यापन हेतु एक अलग एप लिंक जारी किया जाएगा। शासन ने स्पष्ट किया है कि समयबद्ध तरीके से सभी हितग्राहियों का ई-केवायसी पूरा कराया जाए, जिससे महतारी वंदन योजना के लाभ सुगमता और पारदर्शिता के साथ पात्र हितग्राहियों तक पहुंच सकें।

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