भिण्ड , नवम्बर 29 -- मध्यप्रदेश में भिण्ड जिले के अटेर अनुभाग के सुरपुरा थाने में पदस्थ एक आरक्षक को रिश्वत लेने के मामले में विशेष न्यायाधीश पंकज चतुर्वेदी की अदालत ने दोषी करार देते हुए 4 वर्ष के सश्रम कारावास और 4 हजार रुपए जुर्माने की सजा सुनाई है। आरोपी ने स्थायी गिरफ्तारी वारंट में मदद करने के नाम पर घूस मांगी थी।

जानकारी के अनुसार, फरियादी हरेंद्र सिंह ने ग्वालियर लोकायुक्त को शिकायत में बताया था कि उनके भतीजे रोहित सिंह भदौरिया के खिलाफ न्यायालय से स्थायी गिरफ्तारी वारंट जारी हुआ था। वारंट में हथकड़ी न लगाने, कोई अतिरिक्त धारा न जोड़ने और कोर्ट में जमानत दिलवाने में मदद करने के नाम पर सुरपुरा थाने के तत्कालीन आरक्षक फारूख खान ने 4 हजार रुपए की मांग की थी।

फरियादी ने आरोपी की बातचीत की वॉयस रिकॉर्डिंग लोकायुक्त एसपी को सौंपते हुए कार्रवाई की मांग की। शिकायत सत्यापन के बाद लोकायुक्त टीम ने ट्रैप की योजना बनाई और हरेंद्र सिंह को एक हजार रुपए के पाउडर लगे नोट देकर आरोपी से मिलने भेजा। 18 जनवरी 2018 को जैसे ही आरक्षक फारूख खान ने रकम अपनी पैंट की जेब में रखी, टीम ने उसे रंगे हाथों पकड़ लिया। उसके विरुद्ध भ्रष्टाचार निवारण अधिनियम के तहत मामला दर्ज किया गया था। लंबी सुनवाई के बाद अदालत ने आरोपी को दोषी मानते हुए 4 साल की सजा और 4 हजार रुपए के अर्थदंड से दंडित किया है।

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