बैतूल , दिसंबर 21 -- जनजातीय कला, संस्कृति और पारंपरिक हस्तशिल्प को प्रोत्साहन देने के उद्देश्य से बैतूल में 'आदि बाजार' का शुभारंभ रविवार को शिवाजी ओपन ऑडिटोरियम में किया गया। यह आयोजन भारत सरकार के जनजातीय कार्य मंत्रालय के मार्गदर्शन में आयोजित किया गया है, जिसमें देशभर से आए जनजातीय कारीगर अपने विशिष्ट उत्पादों की प्रदर्शनी एवं बिक्री कर रहे हैं।
आदि बाजार में हस्तशिल्प और हथकरघा उत्पादों के साथ बांस व लकड़ी से निर्मित सामग्री, प्राकृतिक जड़ी-बूटियां, वन उत्पादों से बने हर्बल कॉस्मेटिक्स, सजावटी वस्तुएं, पारंपरिक वस्त्र, बैग एवं जनजातीय आभूषण उपलब्ध हैं। यहां उपभोक्ताओं को कारीगरों से सीधे संपर्क कर खरीदारी करने का अवसर मिल रहा है।
इस पहल का मुख्य उद्देश्य जनजातीय उत्पादों को व्यावसायिक पहचान दिलाना और कारीगरों की आय में वृद्धि करना है। बाजार के पहले ही दिन बड़ी संख्या में नागरिकों की उपस्थिति रही, जिन्होंने विभिन्न राज्यों से आए कलाकारों की कृतियों की सराहना की।
आदि बाजार का उद्घाटन केंद्रीय राज्य मंत्री (जनजातीय कार्य) दुर्गादास उईके ने किया। कार्यक्रम में प्रदेश भाजपा अध्यक्ष एवं विधायक बैतूल हेमंत खंडेलवाल, विधायक महेंद्र सिंह चौहान, जन अभियान परिषद के उपाध्यक्ष मोहन नागर, कलेक्टर नरेन्द्र कुमार सूर्यवंशी, जिला पंचायत सीईओ अक्षत जैन सहित जनप्रतिनिधि, अधिकारी एवं बड़ी संख्या में नागरिक उपस्थित रहे।
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