, Oct. 23 -- भगवान चित्रगुप्त की पूजा भी पूरे बिहार मे धूमधाम के साथ मनायी जा रही है। हिंदू धर्म में चित्रगुप्त जी की पूजा का विशेष महत्व है।चित्रगुप्त कायस्थों के आराध्य देव हैं। भगवान चित्रगुप्त कलम को देवता माना जाता है। चित्रगुप्त पूजा करने से साहस, शौर्य, बल और ज्ञान की प्राप्ति होती है। कायस्थ पूजा के दिन भगवान चित्रगुप्त के साथ ही कलम और बही-खाते की भी पूजा करते हैं क्योंकि ये दोनों ही भगवान चित्रगुप्त को प्रिय हैं। इसके साथ ही अपने आय-व्यय का ब्योरा और घर परिवार के बच्चों के बारे में पूरी जानकारी लिखकर भगवान चित्रगुप्त को अर्पित की जाती है।
पौराणिक मान्यताओं के अनुसार, कायस्थ जाति को उत्पन्न करने वाले भगवान चित्रगुप्त का जन्म यम द्वितीया के दिन हुआ। कार्तिक मास के शुक्ल पक्ष की द्वितीया तिथि को भगवान चित्रगुप्त की पूजा की जाती है। हिंदू धर्म में चित्रगुप्त जी की पूजा का विशेष महत्व है। वह कायस्थों के आराध्य देव हैं। भगवान चित्रगुप्त ब्रह्मदेव की संतान हैं। वह ज्ञान के देवता हैं। उनको यमराज का सहायक देव माना जाता है।यमलोक के राजा यमराज को कर्मों के आधार पर जीव को दंड या मुक्ति देने में कोई समस्या न हो, इसलिए चित्रगुप्त भगवान हर व्यक्ति के कर्मों का लेखा-जोखा लिखकर, यमदेव के कार्यों में सहायता प्रदान करते हैं। चित्रगुप्तजी का जन्म ब्रह्मदेव के अंश से न होकर संपूर्ण काया से हुआ था इसलिए चित्रगुप्त जी को कायस्थ कहा गया।शास्त्रों में कहा गया है कि भीष्म पितामह ने भी भगवान चित्रगुप्तकी पूजा की थी। उनकी पूजा से खुश होकर पितामह को अमर होने का वरदान दिया था। मान्यता है कि उनकी पूजा करने से गरीबी और अशिक्षा दूर होती है।
चित्रांश परिवार में कलम दवात की पूजा को लेकर गजब उत्साह देखने को मिल रहा है। कायस्थ समाज के लोग काफी श्रद्धा के साथ अपने घरों के अलावा मंदिरों में भी कलम और दवात की पूजा कर रहे हैं। राजधानी पटना में कई जगहों पर भगवान चित्रगु्प्त की प्रतिमाएं स्थापित की गयी है। गर्दनीबाग, ठाकुरबाड़ी, अनिसाबाद, पटनासिटी के अलावा कई जगहों पर चित्रगुप्त पूजा का विशेष आयोजन किया गया है। प्रात: मंदिर परिसर में सैंकड़ो की संख्या में चित्रांश समाज के लोगों ने कलम के देवता भगवान श्री चित्रगुप्त की सामूहिक पूजा-अर्चना की एवं अपने इष्ट देवता के समक्ष साल भर के आय-व्यय का लेखा-जोखा रखा और मनोवांच्छित फल और शांति के लिए कामना की।
बिहार के मुख्यमंत्री नीतीश कुमार ने चित्रगुप्त पूजा एवं भैयादूज पर्व के अवसर पर प्रदेश और देशवासियों को हार्दिक बधाई एवं शुभकामनायें दी है।
मुख्यमंत्री श्री कुमार ने अपने शुभकामना संदेश में कहा है कि ज्ञान के अधिष्ठाता देवता चित्रगुप्त भगवान की पूजा एवं आराधना से लोगों में पढ़ने-लिखने की अभिरूचि बढ़ती है। लोगों में पढ़ने-लिखने के प्रति बढ़ती हुयी अभिरूचि के फलस्वरूप बिहार में ज्ञान और शिक्षा का प्रकाश घर-घर फैलेगा। उन्होंने कहा कि आज का युग ज्ञान का युग है। सबके प्रयास से बिहार सुखी, समुन्नत और समृद्ध बनेगा ।
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