सारंगढ़ , दिसंबर 22 -- छत्तीसगढ में वन मंडलाधिकारी सारंगढ़ के मार्गदर्शन में वन परिक्षेत्र बरमकेला अंतर्गत जंगली सुअर के अवैध शिकार के मामले में अधिकारियों ने त्वरित एवं सख्त कार्रवाई करते हुए शिकारियों के गिरोह का सोमवार को पर्दाफाश किया।

वन्यजीव संरक्षण की दिशा में वन विभाग को यह अहम सफलता मिली है।

वन विभाग के अधिकारियों ने बताया कि खुफिया जानकारी के आधार पर सर्च वारंट जारी कर ग्राम करपी निवासी हेतराम पटेल एवं राजू निषाद के आवासों की तलाशी ली गई। तलाशी के दौरान जंगली सुअर के अवशेष बरामद हुए, जिससे अवैध शिकार की पुष्टि हुई। इस संबंध में वन अपराध प्रकरण में 16 दिसंबर को मामला दर्ज किया गया था।

वन विभाग की कार्रवाई की भनक लगते ही दोनों आरोपी फरार हो गए, जिसके बाद वन विभाग द्वारा खोजी स्वान की सहायता से गांव एवं आसपास के क्षेत्रों में सघन तलाशी अभियान चलाया गया। तलाशी के दौरान आरोपियों के खेत के समीप से जीआई तार, खूंटी तथा जंगली सुअर के अवशेष बरामद किए गए। जांच में यह स्पष्ट हुआ कि फंदा लगाकर जंगली सुअर का शिकार किया गया था।

बाद में दोनों मुख्य आरोपियों ने वन परिक्षेत्र कार्यालय बरमकेला में आत्मसमर्पण किया। पूछताछ के दौरान उन्होंने अपराध स्वीकार करते हुए अपने अन्य सहयोगियों की जानकारी दी। इसके आधार पर सह-अभियुक्त रामप्रसाद पटेल एवं परमेश्वर पटेल को भी गिरफ्तार किया गया।

वन विभाग द्वारा सभी चारों अभियुक्तों को 20 दिसंबर को अदालत में रिमांड हेतु प्रस्तुत किया गया। वन अधिकारियों ने स्पष्ट किया है कि वन्यजीव संरक्षण अधिनियम के तहत इस प्रकार के अपराधों पर आगे भी सख्त कार्रवाई जारी रहेगी।

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