नैनीताल, सितंबर 29 -- उत्तराखंड के हल्द्वानी में पेपर लीक मामले की सीबीआई जांच और परीक्षा रद्द करने की मांग को लेकर हल्द्वानी में भूख हड़ताल पर बैठे भूपेंद्र कोरंगा को पुलिस ने सोमवार को जबरन उठा दिया है। उन्हें अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
उत्तराखंड युवा एकता मंच के बैनर तले सरकारी नौकरियों की तैयारी कर रहे युवा यूकेएसएसएससी पेपर लीक मामले की सीबीआई जांच, विवादास्पद परीक्षा को रद्द कर दोबारा कराने और लीक के दोषियों पर कार्रवाई की मांग को लेकर हल्द्वानी के बुद्ध पार्क में अनिश्चितकालीन धरना दे रहे हैं।
भूपेंद्र कोरंगा ने इन मांगों को लेकर चार दिन पहले भूख हड़ताल शुरू की थी। आज शाम को पुलिस क्षेत्राधिकारी (सीओ) नितिन लोहनी और सिटी मजिस्ट्रेट गोपाल सिंह चौहान भारी पुलिस बल के साथ बुद्ध पार्क पहुंचे।
श्री लोहनी ने प्रदर्शनकारियों को समझाने का प्रयास किया, लेकिन वे सीबीआई जांच और परीक्षा दोबारा कराने की मांग पर अड़े रहे। अंत में पुलिस ने भूपेंद्र कोरंगा की बिगड़ती तबीयत का हवाला देते हुए जबरन उठा लिया। इस दौरान युवाओं की पुलिस से झड़प भी हुई। उसे अस्पताल में भर्ती कराया गया है।
आरोप है कि पुलिस से झड़प के दौरान एक लड़की के कपड़े फट गए। इससे नाराज प्रदर्शनकारियों ने पुलिस के खिलाफ नारेबाजी की और इसके तत्काल बाद पीयूष जोशी और विनोद कुमार ने आमरण अनशन शुरू कर दिया।
श्री लोहानी ने बताया कि स्वास्थ्य विभाग की सलाह पर श्री कोरंगा को अस्पताल में भर्ती कराया गया है। हालांकि शाम तक सरकार ने आंदोलनकारियों की मांग को मानते हुए इस मामले की सीबीआई जांच के आदेश पर दिए। मुख्यमंत्री धामी आज खुद देहरादून में प्रदर्शनकारी युवाओं से मिलने मौके पर गये और उनकी सभी मांगों को मानने की घोषणा की।
यहां बता दें कि विगत 21 सितंबर को यूकेएसएसएससी की ओर से आयोजित किए जा रहे भर्ती परीक्षा का पेपर हरिद्वार के एक परीक्षा केंद्र से लापता हो गया था। इस मामले में पुलिस ने कई आरोपियों को गिरफ्तार कर लिया था। साथ ही मामले की जांच उच्च न्यायालय के सेवा निवृत्त न्यायाधीश की अगुवाई में विशेष अनुसंधान दल (एसआईटी) को सौंप दी थी।
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