गांधीनगर , दिसंबर 26 -- गुजरात के मुख्यमंत्री भूपेंद्र पटेल ने सूरत जिले में 858 करोड़ रुपए के विभिन्न विकास कार्यों का शुक्रवार को ई-शिलान्यास तथा ई-लोकार्पण किया।
श्री पटेल ने इस अवसर पर सूरत जिले की अंबिका तहसील में आयोजित तीन दिवसीय राष्ट्रीय आदिवासी उद्योग मेले का प्रारंभ करते हुए कहा कि यह मेला प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी के 'वोकल फॉर लोकल-लोकल फॉर ग्लोबल' का मंत्र साकार करेगा। राज्य के समस्त आदिवासी समाज तथा सहयोगी संस्थाओं के उपक्रम से इस राष्ट्रीय आदिवासी उद्योग मेले का 26 से 29 दिसंबर के दौरान सूरत जिले की नवगठित अंबिका तहसील के वसराई में आयोजन किया गया है।
उन्होंने कहा कि आदिवासी समाज के युवक-युवतियों को स्वरोजगार की प्रेरणा तथा छोटे एवं मध्यम स्तर के एमएसएमई, उद्योगकारों और व्यवसायों को एक मंच पर लाकर व्यवसाय-उद्योगों की व्यापकता बढ़ाने के दृष्टिकोण के साथ यह मेला आयोजित हुआ है। इस मेले में 370 से अधिक स्टॉल्स, आदिवासी व्यंजनों के 80 से अधिक स्टॉल्स, देशभर के राज्यों के 700 से अधिक प्रतिनिधियों की सहभागिता तथा एमएसएमई के लिए बिजनेस वर्कशॉप 'एक भारत, श्रेष्ठ भारत' के संकल्प को साकार करेंगे।
मुख्यमंत्री ने वित्त एवं शहरी विकास मंत्री कनुभाई देसाई, आदिजाति विकास मंत्री नरेशभाई पटेल तथा राज्य मंत्री डॉ. जयराम गामित की उपस्थिति में इस मेले का उद्घाटन करने के साथ सूरत जिले में सड़क एवं भवन विभाग द्वारा 858 करोड़ रुपए के विभिन्न विकास कार्यों का भी ई-शिलान्यास तथा ई- लोकार्पण किया और कहा कि प्रधानमंत्री ने विकसित तथा आत्मनिर्भर भारत का जो विजन दिया है, उसमें आदिवासी उद्योगों, परंपरागत कला-कारीगरी तथा एमएसएमई द्वारा योगदान दिए जाने में यह मेला नई दिशा देगा।
उन्होंने कहा कि गुजरात प्रधानमंत्री द्वारा दिए गए आत्मनिर्भर-स्वदेशी भारत के इस विजन को भली-भाँति पूरा कर रहा है। उन्होंने इसकी भूमिका की सफलता का वर्णन करते हुए कहा कि राज्य सरकार ने स्वयं-सहायता समूह की महिलाओं तथा स्टार्टअप्स को प्रोत्साहन एवं कौशलवर्धन केन्द्रों से युवाओं को जॉब सीकर से जॉब गिवर बनाया है।
आदिजाति विकास मंत्री नरेशभाई पटेल ने कहा कि आज हमारे लिए गौरव का दिन है। प्रधानमंत्री श्री नरेन्द्र मोदी द्वारा गुजरात के तत्कालीन मुख्यमंत्री के रूप में शुरू की गई विकास यात्रा को मुख्यमंत्री श्री पटेल ने अविरत बनाए रखा है। ट्राइबल ट्रेड फेयर आदिवासी संस्कृति के संरक्षण के साथ आदिवासी युवाओं को उद्योग-धंधे का अवसर देकर स्थानीय स्तर पर रोजगार देने का प्रयास है।
महुवा के विधायक मोहनभाई ढोडिया ने कहा कि आदिवासी समाज को प्रोत्साहित करने के लिए सरकार आपके द्वार पर आई है। आदिवासी उद्यमियों को प्रोत्साहित करने का यह अवसर है। इस सरकार ने आदिवासी समाज की चिंता की है। उन्होंने नई तहसील अंबिका के गठन के लिए राज्य सरकार को अभिनंदन दिया।
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