चंडीगढ़, नवंबर 10 -- पंजाब के ऊर्जा मंत्री संजीव अरोड़ा ने सोमवार को बताया कि राज्य सरकार ने एक प्रमुख उपभोक्ता-समर्थक सुधार के तहत नए बिजली कनेक्शन प्राप्त करने और लोड क्षमता में परिवर्तन के लिए प्रक्रियाओं को सरल बना दिया है।
श्री अरोड़ा ने कहा कि नयी व्यवस्था के तहत, एलटी (लो टेंशन) श्रेणी के अंतर्गत 50 किलोवाट तक के नये कनेक्शन या लोड में बदलाव चाहने वाले आवेदकों या उपभोक्ताओं को परिसर में विद्युत स्थापना के लिए किसी लाइसेंस प्राप्त विद्युत ठेकेदार से कोई परीक्षण रिपोर्ट या कोई स्व-प्रमाणन/हस्ताक्षरित दस्तावेज़ जमा करने की आवश्यकता नहीं होगी। इसके बजाय, ऑनलाइन आवेदन पत्र में एक घोषणा पत्र होगा, जिसमें आवेदक को यह घोषणा करनी होगी कि " परिसर में आंतरिक तारों का निर्माण और परीक्षण किसी लाइसेंस प्राप्त विद्युत ठेकेदार/सरकार के नामित अधिकारी द्वारा किया गया है और आवेदक के पास परीक्षण प्रमाण पत्र उपलब्ध है। "गौरतलब है कि पीएसपीसीएल (एपी को छोड़कर) में 50 किलोवाट से कम लोड वाले कुल कनेक्शन 99.5 प्रतिशत से अधिक हैं।
ऊर्जा मंत्री ने कहा कि एलटी आपूर्ति पर 50 किलोवाट से अधिक भार वाले उपभोक्ताओं के लिए, परीक्षण रिपोर्ट प्रस्तुत करना अनिवार्य रहेगा, लेकिन पीएसपीसीएल अधिकारियों को ऐसी रिपोर्टों का सत्यापन करने की आवश्यकता नहीं होगी। इसी प्रकार, सभी नये एचटी (उच्च दाब) और ईएचटी (अतिरिक्त उच्च दाब) आवेदकों के लिए, मुख्य विद्युत निरीक्षक (सीईआई) द्वारा निरीक्षण रिपोर्ट अनिवार्य बनी रहेगी, हालांकि, परीक्षण रिपोर्ट प्रस्तुत करना अब आवश्यक नहीं होगा। उन्होंने कहा कि मौजूदा एचटी/ ईएचटी उपभोक्ताओं की श्रेणी में, जो लोड विस्तार चाहते हैं, सीईआई निरीक्षण केवल तभी आवश्यक होगा, जब नया ट्रांसफार्मर लगाया जाएगा। अन्य सभी मामलों में, सीईआई प्रमाणन की आवश्यकता नहीं होगी। आवेदक/ उपभोक्ता द्वारा नया कनेक्शन/अतिरिक्त लोड/ मांग/ नाम परिवर्तन आदि के लिए लाइसेंस प्राप्त विद्युत ठेकेदार के माध्यम से प्रस्तुत परीक्षण रिपोर्ट (जहां भी लागू हो) का सत्यापन पीएसपीसीएल द्वारा नहीं किया जाना है। उन्होंने कहा कि ये निर्देश एपी (कृषि विद्युत) श्रेणी के उपभोक्ताओं पर लागू नहीं होंगे।
ऊर्जा मंत्री ने कहा कि लाइनमैन ट्रेड में 2,600 प्रशिक्षुओं (इंटर्न) की चयन प्रक्रिया सफलतापूर्वक पूरी हो गयी है, जिसमें पंजाब स्टेट पावर कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएसपीसीएल) के लिए 2,500 और पंजाब स्टेट ट्रांसमिशन कॉरपोरेशन लिमिटेड (पीएसटीसीएल) के लिए 100 प्रशिक्षु शामिल हैं। उन्होंने कहा कि पंजाब सरकार, जनशक्ति और तकनीकी दक्षता, दोनों ही दृष्टि से पीएसपीसीएल और पीएसटीसीएल को मज़बूत करने के लिए निरंतर प्रयास कर रही है। उन्होंने बताया कि हाल ही में 2,106 (2,023 सहायक लाइनमैन, 48 आंतरिक लेखा परीक्षक और 35 राजस्व लेखाकार सहित) की नियुक्ति के साथ, अप्रैल 2022 से अब तक नयी भर्तियों की कुल संख्या बढ़कर 8,984 हो गयी है, जो रोज़गार के अवसर प्रदान करने और राज्य के बिजली ढांचे में सुधार के लिए सरकार की प्रतिबद्धता को दर्शाता है।
उन्होंने कहा कि चूंकि पीएसपीसीएल में अब लगभग 30,000 कर्मचारी हैं, इसलिए यह अप्रेंटिस अधिनियम, 1961 के अनिवार्य दायरे में आता है, जिसके अनुसार 30 या अधिक कर्मचारियों वाले प्रत्येक प्रतिष्ठान को कुल जनशक्ति के 2.5 प्रतिशत से 15 प्रतिशत के बीच अप्रेंटिस (इंटर्न) नियुक्त करना आवश्यक है।
विद्युत मंत्री ने बताया कि वित्त वर्ष 2023-24 के दौरान, 1,500 प्रशिक्षुओं (इंटर्न) ने अक्टूबर 2024 में सफलतापूर्वक अपना प्रशिक्षण पूरा कर लिया था। उस सफलता के आधार पर, नया बैच 52-सप्ताह के गहन प्रशिक्षण कार्यक्रम से गुजरेगा, जो सैद्धांतिक ज्ञान और व्यावहारिक कौशल दोनों प्रदान करने के लिए डिज़ाइन किया गया है।
प्रशिक्षण के दौरान, प्रशिक्षु (इंटर्न) अनुभवी पीएसपीसीएल कर्मचारियों की देखरेख में काम करेंगे और अपने पर्यवेक्षकों द्वारा साप्ताहिक रूप से जांची जाने वाली दैनिक डायरी रखेंगे। सफलतापूर्वक प्रशिक्षण पूरा करने पर, उम्मीदवारों का सैद्धांतिक और व्यावहारिक दोनों तरह से मूल्यांकन किया जाएगा, जिसके बाद राष्ट्रीय शिक्षुता परिषद (एनएसी), नयी दिल्ली द्वारा प्रमाण पत्र जारी किये जाएंगे।
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