नयी दिल्ली , दिसंबर 25 -- वायु गुणवत्ता प्रबंधन आयोग (सीएक्यूएम) ने राष्ट्रीय राजधानी दिल्ली और आसपास के क्षेत्रों में सड़क-रखरखाव एजेंसियों द्वारा किए गए सुधारात्मक उपायों के अनुपालन और उसके प्रभाव का असर जानने के लिए बुधवार को निरीक्षण अभियान चलाया जिसमें स्थिति में सुधार का आकलन किया गया।
यह अभियान सड़क में धूल के संचय के आकलन और मैकेनिकल रोड स्वीपिंग मशीनों (एमआरएसएम) के ऑन-ग्राउंड संचालन के साथ-साथ नगरपालिका ठोस अपशिष्ट (एमएसडब्ल्यू) संचय, निर्माण और विध्वंस (सी एंड डी) अपशिष्ट संचय और खुले में जलाने के मामलों की पहचान पर केंद्रित था।
आयोग के निर्देश पर दिल्ली प्रदूषण नियंत्रण समिति (डीपीसीसी) ने लोक निर्माण विभाग (पीडब्ल्यूडी) की 106 सड़कों का इस अभियान के तहत निरीक्षण किया। इस काम में 15 टीमें लगाई गईं। इसके अलावा दिल्ली विकास प्राधिकरण के अधिकार क्षेत्र के तहत चयनित 27 सड़क खंडों के पुन: निरीक्षण के लिए केंद्रीय प्रदूषण नियंत्रण बोर्ड (सीपीसीबी) की दो टीमों को लगाया गया।
इन सब सड़कों का निरीक्षण करने के बाद इसकी रिपोर्ट फोटोग्राफिक दस्तावेज के साथ आयोग को सौंपी गई।
डीडीए द्वारा बनाए गए 27 सड़क खंडों के पुन: निरीक्षण के दौरा पहले 12 दिसंबर के निरीक्षण में जहां धूल के उच्च स्तर के साथ रिपोर्ट की गई थी उसमें अब इनमें से कोई भी खंड उच्च धूल श्रेणी के अंतर्गत नहीं पाया गया। इन हिस्सों में से सात में धूल स्तर मध्यम स्तर का पाया गया, 19 में कम धूल की तीव्रता दर्ज की गई और 01 हिस्से में धूल का स्तर नहीं पाया गया। यह इन सड़क खंडों के समग्र रखरखाव में उल्लेखनीय सुधार का संकेत है, जो सीएक्यूएम द्वारा पहले निरीक्षण के बाद एजेंसी द्वारा किए गए सुधारात्मक उपायों के प्रभाव को दर्शाता है।
निरीक्षण अभियान से पता चला है कि पीडब्ल्यूडी से निर्मित 106 सड़क खंडों के 09 खंडों में धूल का उच्च स्तर है, 16 खंडों में मध्यम, 37 खंडों में कम तीव्र स्तर तथा 44 खंडों में कहीं धूल का स्तर नहीं मिला। कुछ हिस्सों में धूल की तीव्रता अधिक देखी गई, एमएसडब्ल्यू और सी एंड डी कचरे का संचय, साथ ही खुले में जलाने की घटनाएं भी सामने आईं। इससे स्पष्ट हुआ है कि संबंधित एजेंसियों द्वारा जमीनी स्तर पर प्रवर्तन और रखरखाव को मजबूत करने की अभी आवश्यकता है।
निरीक्षण रिपोर्ट के आधार पर आयोग ने यह भी पाया कि डीडीए की सड़कों के पुन: निरीक्षण के परिणाम में सुधार और जवाबदेही के संकेत हैं जबकि पीडब्ल्यूडी की सड़कों पर प्रभावी रखरखाव और धूल नियंत्रण कम हो रहा है इसलिए दोनों सड़कों पर तत्काल और निरंतर सुधारात्मक कार्रवाई की आवश्यकता है।
आयोग ने दोहराया कि 'ऑपरेशन क्लीन एयर' के तहत लक्षित निरीक्षण और पुन: निरीक्षण का काम जारी रहेगा ताकि दिल्ली में सड़क के हिस्सों को साफ और धूल मुक्त रखा जा सके।
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