दरभंगा , अक्तूबर 16 -- बिहार में दरभंगा जिले की एक अदालत ने गुरूवार को दो मासूम बच्चों की निर्मम हत्या करने के जुर्म में उसके पिता को सश्रम आजीवन कारावास और 25 हजार रुपया अर्थ दंड की सजा सुनाई है।

दरभंगा व्यवहार न्यायालय के अपर सत्र न्यायाधीश आदिदेव ने दो मासूम बच्चों की निर्मम हत्या करने के जुर्म में सोनकी थाना क्षेत्र के बासुदेवपुर गांव निवासी दीपनारायण यादव को सश्रम आजीवन कारावास और 25 हजार रुपये अर्थदंड की सजा सुनाई है।अर्थदंड नही देने पर उसे ढ़ाई माह अतिरिक्त सजा भुगतनी होगी।

अभियोजन पक्ष का संचालन कर रहे अपर लोक अभियोजक अशोक कुमार भगत ने बताया कि जिले के सदर थाना क्षेत्र के बासुदेवपुर गांव में चार मई 2020 को अहले सुबह दीप नाराायण यादव ने चार वर्षीय पुत्री काजल और दो वर्षीय पुत्र शिवम की निर्मम हत्या कर दी थी। उसने मासूम बच्चों को बचाने गई मां कंचन देवी को उसे भी बिजली का करंट लगाकर मारने का प्रयास किया। इस मामले में कंचन कुमारी ने अपने पति दीपनारायण यादव और ससुर उपेंद्र यादव के विरुद्ध प्रताड़ित करने तथा पुत्री काजल कुमारी और पुत्र शिवम की हत्या कर देने को लेकर सोनकी ओपी (सदर थाना ) कांड सं. 199/20 दर्ज कराई थी। अनुसंधान के बाद मामले के अनुसंधानक ने सूचिका के पति के विरुद्ध भारतीय दंड विधान की धारा 302 और धारा 498 (ए) में आरोप पत्र समर्पित किया। अदालत ने इस केस का विचारण सत्रवाद सं.105/20 के तहत प्रारंभ हुआ। श्री भगत ने नौ गवाहों की गवाही कराई। पिछले नौ अक्टूबर को अदालत ने इस हत्याकांड मामले का ट्रायल पूरा कर दोनो बच्चों की हत्या के लिए अलग-अलग, 302 भारतीय दंड विधान (भा.द.वि) तथा 498(ए) में हत्यारे पिता को दोषी घोषित किया।

गुरुवार को अदालत ने सजा निर्धारण के बिन्दु पर अभियोजन और बचाव पक्ष का बहस सुनने तथा अभिलेख पर मौजूद साक्ष्यों का अवलोकन करने के बाद दोषी अभियुक्त को काजल और शिवम की हत्या के जुर्म में सश्रम आजीवन कारावास तथा दस हजार रुपये अर्थदंड, वहीं पत्नी कंचन देवी को बदसूरत कहकर प्रताड़ित करने के जुर्म में दो वर्षों का कठोर कारावास और पांच हजार रुपये अर्थदंड देने की सजा सुनाई है।

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