अमृतसर , अक्टूबर 02 -- श्री अकाल तख्त साहिब के कार्यवाहक जत्थेदार ज्ञानी कुलदीप सिंह गड़गज्ज और शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक समिति के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने गुरुवार को श्री गुरु नानक देव जी के प्रकाश पर्व के अवसर पर वार्षिक सिख जत्थे को श्री ननकाना साहिब और पाकिस्तान स्थित अन्य ऐतिहासिक धर्मस्थलों के दर्शन की अनुमति देने के केन्द्र सरकार के फैसले का स्वागत किया है।

जत्थेदार ज्ञानी कुलदीप सिंह गड़गज्ज ने इसे सिख समुदाय की हार्दिक अरदास (प्रार्थना) की पूर्ति बताया। उन्होंने कहा कि भारत और पाकिस्तान के बीच हुए समझौते के अनुसार, सिख जत्थे हर साल पाकिस्तान स्थित गुरुद्वारों में मत्था टेकने जाते हैं, लेकिन इस साल जत्था न भेजने के सरकार के पहले के फैसले से सिख भावनाओं को गहरा ठेस पहुँची है।उन्होंने कहा कि यह सराहनीय है कि भारत सरकार ने सिख संस्थाओं और समुदाय की भावनाओं का सम्मान करते हुए, जत्था न भेजने के अपने 12 सितंबर के फैसले पर पुनर्विचार किया है और उसे भेजने की मंज़ूरी दे दी है।

जत्थेदार ने कहा कि दुनिया भर में सिख और श्री गुरु नानक देव के भक्त हर साल उनके प्रकाश पर्व को बड़ी श्रद्धा से मनाते हैं और हर सिख श्री ननकाना साहिब में गुरु साहिब के पवित्र जन्मस्थान के दर्शन करने के लिए लालायित रहता है। उन्होंने कहा कि सिख जत्थों को नियमित रूप से पाकिस्तान स्थित गुरुद्वारों का दौरा करते रहना चाहिए, क्योंकि इससे सांप्रदायिक सद्भाव मज़बूत होता है और दोनों देशों के बीच संबंध बेहतर होते हैं। उन्होंने कहा कि क्षेत्र में शांति और स्थिरता के लिए भारत और पाकिस्तान के बीच अच्छे संबंध ज़रूरी हैं और दोनों देशों को एक-दूसरे के साथ व्यापार मार्ग भी खोलने चाहिए।

श्री अकाल तख्त साहिब के जत्थेदार ने केन्द्र सरकार से श्री करतारपुर साहिब कॉरिडोर को फिर से खोलने का भी अनुरोध किया, जो तनाव बढ़ने के बाद से बंद है, ताकि जत्थों में शामिल न हो पाने वाले श्रद्धालु श्री दरबार साहिब, श्री करतारपुर साहिब में मत्था टेक सकें और अपने जीवन को आध्यात्मिक रूप से समृद्ध बना सकें।

शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी के अध्यक्ष एडवोकेट हरजिंदर सिंह धामी ने श्री गुरु नानक देव के प्रकाशोत्सव के अवसर पर सिख तीर्थयात्रियों के एक जत्थे को पाकिस्तान स्थित श्री ननकाना साहिब और अन्य गुरुद्वारों के दर्शन की अनुमति देने के भारत सरकार के फैसले का स्वागत किया है। उन्होंने कहा कि सरकार का यह फैसला मीडिया रिपोर्टों के माध्यम से सामने आया है, जिसकी शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी सराहना करती है।

एसजीपीसी अध्यक्ष ने कहा कि श्री गुरु नानक साहिब जी का प्रकाश पर्व न केवल सिख जगत के लिए, बल्कि पूरी मानवता के लिए बहुत महत्वपूर्ण है। इस अवसर पर सिख संगत द्वारा गुरु साहिब जी के जन्म स्थान श्री ननकाना साहिब के दर्शन कर अपनी श्रद्धा प्रकट करने की इच्छा भावुक कर देने वाली है।

उन्होंने कहा कि पिछले दिनों सिख जत्थे पर प्रतिबंध लगाने के फैसले से संगत को निराशा हुई थी, जिसके चलते शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी ने सरकार से अपने फैसले पर पुनर्विचार करने की अपील की थी। इस संबंध में चार दिन पहले भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी को 29 सितंबर को एक पत्र लिखा गया था, जिस पर सरकार द्वारा विचार किया जाना संतोषजनक है।

एडवोकेट धामी ने कहा कि केन्द्र सरकार द्वारा लिया गया निर्णय सिख समुदाय की भावनाओं का सम्मान करता है, जिसके लिए हम शिरोमणि गुरुद्वारा प्रबंधक कमेटी की ओर से देश के प्रधानमंत्री और गृह मंत्री का धन्यवाद करते हैं।

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