हमीरपुर, सितम्बर 25 -- उत्तर प्रदेश के हमीरपुर जिले में घरेलू सकल उत्पाद(जीडीपी) तेजी से बढता जा रहा है। जिलाधिकारी ने दावा किया है कि सूबे में जीडीपी में हमीरपुर का दूसरा स्थान है, जिले से डार्कजोन पूरी तरह समाप्त हो गया है।

जिला अर्थ एवं संख्या अधिकारी नरेंद्र कुशवाहा ने गुरुवार को बताया कि घरेलू सकल उत्पाद(जीडीपी) का तीन खंडो में विस्तार होता है, जिसमे प्रथम चरण में कृषि,बानिकी,मत्स्य,खनन,निर्माण,बिनिर्माण आदि शामिल है, दूसरे चरण में व्यापार,परिवहन,भंडारण, संचार व प्रसारण,वित्तीय सेवाएं,लोक प्रशासन आदि शामिल है जबकि तीसरे चरण में बुनियादी मूल्य व घरेलू सकल उत्पाद बाजार मूल्य के आधार पर शामिल है।

जिले में वर्ष 2020-21 में जीडीपी 102.50 करोड रुपये,2021-22 में 114.87 करोड, 2022-23 में 166.77 करोड 2023-24 में 198.78 करोड रुपये जीडीपी रही। सबसे ज्यादा जीडीपी जिले की 2022-23 की रही जो 45 फीसदी तक बढी,जबकि इसी साल प्रदेश की जीडीपी केवल 14 फीसदी बढी थी।

डीएचटीओ ने बताया कि चार सालो में हर सेक्टर में काम तेजी से हुआ है जिससे जिले में हर क्षेत्र उत्पादन में वृद्धि हुई है। इसी प्रकार वर्ष 2023-24 में प्रदेश की जीडीपी बढने के अनुपात केवल 13.5 फीसदी था जबकि जिले का अनुपात 19.2 फीसदी था। जीवीए में जिले का उत्पादन कुछ कम हुआ है जिसमे शासन ने चिंता जाहिर की है जबकि जिलाधिकारी का कहना है कि जिले का उत्पादन कम नही बढता जा रहा है. जिलाधिकारी घनश्याम मीना ने बताया कि उन्होने अपने कार्यकाल में हर क्षेत्र में कार्य करने से जीडीपी बढने से प्रदेश में दूसरा स्थान प्राप्त हुआ है।

यही नहीं, खनिज क्षेत्र में इतना राजस्व जमा किया गया है जो कि प्रदेश में चौथा स्थान प्राप्त हुआ है इसी प्रकार प्रयास किया जा रहा है कि हर क्षेत्र में जीडीपी बेतहाशा वढे और इसी प्रकार हर व्यक्ति की आय बढ रही है। आंकड़े बताते है कि हर साल जीडीपी प्रदेश की अपेक्षा जिले की ज्यादा बढती रही है।

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