रायपुर , नवंबर 07 -- छत्तीसगढ़ के जशपुर जिले में आयोजित जशपुर जम्बुरी ने पर्यटन को नया आयाम देते हुए स्थानीय संस्कृति, प्रकृति और रोमांच को एक साथ जोड़ा है। जिला प्रशासन द्वारा छह से नौ नवंबर तक आयोजित इस चार दिवसीय आयोजन में देशभर से आए पर्यटकों को जशपुर की सुन्दर वादियों, लोक संस्कृति और आतिथ्य का सजीव अनुभव प्राप्त हो रहा है।

ग्राम केरे में पर्यटकों के लिए आठ होम स्टे की सुविधा उपलब्ध कराई गई है, जहाँ मेहमानों को सभी आवश्यक सुविधाएँ प्रदान की जा रही हैं। प्रशासन की इस पहल ने ग्रामीण पर्यटन को नई दिशा दी है और स्थानीय परिवारों को भी आर्थिक सशक्तिकरण का अवसर मिला है।

होम स्टे में ठहरे पर्यटक केवल अतिथि नहीं, बल्कि स्थानीय परिवारों के सदस्य बनकर रह रहे हैं। वे जशपुर की जीवनशैली, खान-पान और परंपराओं को नजदीक से महसूस कर रहे हैं। पर्यटकों ने कहा,"होम स्टे में रहना होटल से कहीं बेहतर अनुभव है। यहाँ की सादगी, आत्मीयता और घरेलू भोजन ने मन मोह लिया।"होम स्टे की यह अवधारणा स्थानीय जीवन से सीधा जुड़ाव प्रदान करती है। यहाँ पर्यटक घरेलू वातावरण में रहकर न केवल स्थानीय संस्कृति और भाषा को समझते हैं, बल्कि परंपरागत छत्तीसगढ़ी व्यंजनों का स्वाद भी लेते हैं। यह मॉडल होटल की तुलना में अधिक किफायती होने के साथ-साथ व्यक्तिगत और पारिवारिक वातावरण भी प्रदान करता है।

भारत के कई राज्यों - हिमाचल, उत्तराखंड, केरल, सिक्किम और असम - की तरह अब छत्तीसगढ़ भी होम स्टे आधारित ग्रामीण पर्यटन के नए दौर में प्रवेश कर चुका है। जशपुर की पहाड़ियाँ और हरियाली इस अवधारणा को और अधिक आकर्षक बनाती हैं।

जशपुर जम्बुरी में रोमांच प्रेमियों के लिए भी विशेष आकर्षण रहा। देशदेखा क्षेत्र में लगभग 120 पर्यटकों ने रॉक क्लाइंबिंग का रोमांचक अनुभव लिया, जो पूरी सुरक्षा और विशेषज्ञों की निगरानी में संपन्न हुआ। पर्यटक हरी-भरी वादियों के बीच एडवेंचर और सुकून दोनों का आनंद ले रहे हैं।

पहले दिन पंजीकृत पर्यटकों को जशपुर की पारंपरिक शैली में दोना-पत्तल में भोजन परोसा गया। दिनभर की गतिविधियों के बाद संध्या बेला में पर्यटक लोक कलाकारों के साथ झूमते नजर आए। चांदनी रात और संगीत की स्वर-लहरियों ने माहौल को उत्सवमय बना दिया।

जशपुर जम्बुरी की विशेषता रही स्टार-गेजिंग सेशन, जिसमें पर्यटकों ने खुले आसमान के नीचे तारों को निहारते हुए प्रकृति की अद्भुत सुंदरता का अनुभव किया। लोक कलाकारों के गीत, नृत्य और चांदनी की उजास ने कार्यक्रम को अविस्मरणीय बना दिया।

जिला प्रशासन द्वारा निवास, भोजन, सुरक्षा और सांस्कृतिक कार्यक्रमों की सुदृढ़ व्यवस्था ने जशपुर जम्बुरी को एक आदर्श ग्रामीण-पर्यटन उत्सव बना दिया है। इस आयोजन से न केवल स्थानीय अर्थव्यवस्था को बल मिला है, बल्कि जशपुर को "प्रकृति, संस्कृति और एडवेंचर का संगम" के रूप में राष्ट्रीय पर्यटन मानचित्र पर नई पहचानजशपुर जंबूरी के चार दिवसीय कार्यक्रम को लेकर जिला कलेक्टर आईएएस रोहित व्यास ने बताया कि जशपुर जंबूरी का व्यापक प्रतिसाद मिल रहा है।प्रारंभिक चरण में लगभग 100 प्रतिभागी इसमें शामिल हुए हैं।छत्तीसगढ़,उड़ीसा समेत झारखंड से पर्यटक इसमें भाग लिए हैं।प्रतिभागी होम स्टे के साथ टेंट में रुकना पसंद कर रहे हैं।बस्तर की तर्ज पर जशपुर जिले में लगभग आठ होम स्टे तैयार किए गए हैं।जशपुर के पर्यटन स्थल देशदेखा व मयाली नेचर कैंप में प्रतिभागी रैपलिंग, जूमिंग,रोप क्लाइंबिंग, ट्रैकिंग,बोटिंग, फिशिंग, पैंट बॉल समेत अन्य एडवेंचर स्पोर्ट्स का आनंद ले रहे हैं।जशपुर पर्यटन के साथ प्रतिभागियों को यहां की संस्कृति,परंपरा,खान पान,रहन सहन के साथ बांस शिल्प कला व अन्य कलात्मक प्रतिभाओं को समझने व सीखने का बेहतर अवसर जशपुर जंबूरी के माध्यम से मिल रहा है।यह उत्सव जशपुर में पर्यटन के लिए वरदान साबित हो रहा है।

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