चंडीगढ़ , नवंबर 24 -- पंजाब में भारतीय जनता पार्टी (भाजपा) के कार्यकारी अध्यक्ष अश्वनी शर्मा ने सोमवार को कहा कि राज्य विधानसभा में विपक्ष के नेता प्रताप सिंह बाजवा द्वारा भाजपा पर राज्यपाल शासन लगाए जाने की अटकलें लगाना शोभा नहीं देता क्योंकि कांग्रेस ने राज्य में चुनी हुई सरकारों को सात बार उखाड़कर राज्यपाल शासन थोपा था।

श्री शर्मा ने कहा कि कांग्रेस का पूरा इतिहास पंजाब में केंद्रीय दखलअंदाज़ी, राजनीतिक तोड़-मरोड़ और राज्य को अस्थिर करने से जुड़ा है। उन्होंने कहा, "1951 से 1992 तक जब भी पंजाब में हालात बिगड़े, उसके पीछे कांग्रेस की ही नाकाम राजनीति थी। चाहे बहुमत खोना हो, आंतरिक खींचतान हो या केंद्र की मनमर्ज़ी, हर बार पंजाब की चुनी हुई सरकार कांग्रेस ने ही गिराई। आज राजनीतिक मैदान में हाथ खाली होने के कारण कांग्रेस लोकतंत्र और राज्य अधिकारों की बात कर रही है।"भाजपा नेता ने कांग्रेस के शासनकाल में लगे सात राष्ट्रपति शासनों का हवाला देते हुए कहा कि ये कोई प्राकृतिक या अचानक संकट में नहीं लगे थे, बल्कि कांग्रेस की "राजनीतिक गणित" और "अंदरूनी खेलों" का नतीजा थे। कांग्रेस ने अपने स्वार्थ के लिए पंजाब को कई बार लोकतंत्र से वंचित किया और राज्य में राज्यपालों के ज़रिए अपनी मनमानी चलाई।

भाजपा प्रदेश अध्यक्ष ने कहा कि पानी, चंडीगढ़ और केंद्र-राज्य संबंध, ये सभी मुद्दे कांग्रेस की पुरानी गलतियों का परिणाम हैं। जो मुद्दे खुद सुलझा नहीं सके, वे आज भाजपा पर आरोप लगाकर जनता को फिर गुमराह करने की कोशिश कर रहे हैं।

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