चेन्नई , अक्टूबर 04 -- तमिलनाडु के मुख्यमंत्री एम के स्टालिन ने शनिवार को कहा कि उनकी सरकारभविष्य में करूर भगदड़ जैसी घटनाओं को रोकने के लिये एक मानक संचालन प्रक्रिया (एसओपी) का मसौदा तैयार करेगी। उन्होंने इसके साथ ही राजनेताओं से राजनीतिक मतभेद भुलाकर इस संबंध में सुझाव देने का आग्रह किया।
एक बयान में कहा गया कि राज्य सरकार वरिष्ठ पुलिस अधिकारी असरा गर्ग की अगुवाई में एक विशेष जांच दल (एसआईटी) का गठन करते हुए करूर भगदड़ मामले पर मद्रास उच्च न्यायालय की टिप्पणियों का सख्ती से पालन करेगी।
उन्होंने कहा कि करूर त्रासदी ने सभी की अंतरात्मा को हिलाकर रख दिया है। एसआईटी जल्द ही इसकी जांच शुरू करेगी और इस दुखद घटना के पीछे की पूरी सच्चाई सामने लायेगी।
श्री स्टालिन ने आश्वासन देते हुए कहा, " मैं तमिलनाडु के मुख्यमंत्री के रूप में लोगों को भरोसा दिलाता हूं कि सभी स्तर पर जिम्मेदारियां तय की जायेंगी। "मुख्यमंत्री ने कहा कि ऐसे समय में जब तमिलनाडु विभिन्न क्षेत्रों में भारत में अग्रणी राज्य बना हुआ है, राज्य भविष्य में भगदड़ जैसी ऐसी घटनाओं को रोकने के लिए कदम उठाने में भी आगे रहेगा। सरकार ऐसी घटनाओं को रोकने के लिये विभागीय विशेषज्ञ, राजनीतिक दल, अधिकारियों और जनता तथा सभी वर्गों से चर्चा कर एसओपी मसौदा तैयार करेगी।
श्री स्टालिन ने संकट की इस घड़ी में राजनीतिक दलों से मतभेद भुलाकर, दोषारोपण न करने का आग्रह किया और दीर्घकालिक समाधान ढूंढने का आह्वान किया। उन्होंने सभी पक्षों से सुझाव मांगे तथा इस यात्रा में एक साथ आकर शामिल होने का आह्वान किया है ताकि न केवल राज्य में, बल्कि पूरे भारत में ऐसी त्रासदियों को रोकने के लिए स्थायी समाधान ढूंढा जा सके।
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