कोलकाता , अक्टूबर 10 -- प्रवर्तन निदेशालय (ईडी) ने कोलकाता और दक्षिण दमदम में एक नगर निकाय में नौकरी घोटाले और एक आभूषण व्यवसाय से जुड़े सौ करोड़ रुपये के बैंक ऋण धोखाधड़ी के मामले में कई जगहों पर एक साथ छापेमारी शुरू की है जिसमें राज्य के अग्निशमन सेवा मंत्री सुजीत बोस का कार्यालय भी शामिल है।

ये कार्रवाई पश्चिम बंगाल में कई हाई-प्रोफाइल वित्तीय अनियमितताओं और भ्रष्टाचार के मामलों में ईडी की चल रही जांच के हिस्से के रूप में की गयी है।

सूत्रों के अनुसार अर्धसैनिक बलों की सहायता से ईडी अधिकारियों ने श्री बोस के साल्ट लेक बीसी ब्लॉक स्थित कार्यालय और वीआईपी रोड स्थित एक रेस्तरां की संपत्तियों की तलाशी शुरू की। ईडी अधिकारियों ने तलाशी अभियान शुरू करने से पहले अर्द्धसैनिक बलों से आदेश दिया कि वे मंत्री के साल्ट झील वाले कार्यालय पर तैनात सुरक्षाकर्मियों से उनके फोन ले लें।

ईडी की दूसरी टीम ने वीआईपी मार्ग पर मंत्री के रेस्तरां पर छापा मारा। सूत्रों ने कहा कि यह तलाशी अभियान पिछले कई घंटों से अधिक समय से चल रहा है। संघीय एजेंसी ने 2023 में कथित नौकरी भर्ती घोटाले में दक्षिण दमदम नगर पालिका के उपाध्यक्ष निताई दत्ता के उत्तर 24 परगना स्थित लेक टाउन स्थित आवास पर भी एक साथ तलाशी अभियान शुरू किया।

ईडी अधिकारियों की एक अन्य टीम ने एक अलग छापेमारी में दक्षिण दम दम में व्यवसायी सह प्रमोटर दीपक डे के आवास पर तलाशी शुरू की। सूत्रों ने बताया कि ईडी ने नगर निगम नौकरी घोटाले में कथित संलिप्तता के लिये व्यवसायी के दक्षिण दमदम थाना अंतर्गत श्यामनगर इलाके में सुबह से ही तलाशी शुरू कर दी थी।

अयान सिल समेत कई आरोपियों से पूछताछ में मिले नये सुरागों के बाद श्री बोस के ठिकानों पर छापेमारी की ये कार्रवाई की जा रही है। इसके पहले जनवरी 2024 में भी उनके ठिकानों पर छापेमारी की गयी थी। श्री बोस ने दावा किया कि एजेंसी को तलाशी अभियान के दौरान कुछ नहीं मिला और उन्होंने कसम खाई थी कि अगर उनकी संलिप्तता साबित हो गई तो वे मंत्री पद छोड़ देंगे। श्री बोस उस समय दक्षिण दमदम नगरपालिका के अध्यक्ष थे।

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