गोवा , नवंबर 22 -- इंडियन फिल्म फेस्टिवल ऑफ मेलबर्न (आईएफएफएम) ने इंटरनेशनल फिल्म फेस्टिवल ऑफ इंडिया (आईएफएफआई) के साथ एक ऐतिहासिक तीन साल की साझेदारी साइन की है।
वैरायटी की रिपोर्ट के अनुसार इस समझौते से भारत और ऑस्ट्रेलिया के स्क्रीन सेक्टर के बीच संबंधों को मजबूत करने के लिए कई समझौता ज्ञापन को औपचारिक रूप दिया गया है।
इस समझौते पर 21 नवंबर को गोवा के पणजी में आईएफएफआई के 56वें संस्करण के दौरान हस्ताक्षर किया गया। इस मौके पर आईएफएफएम ने ऑस्ट्रेलियाई स्क्रीन इंडस्ट्री के प्रमुख नेताओं के एक प्रतिनिधिमंडल के साथ हिस्सा लिया। इस भागीदारी में को-प्रोडक्शन फ्रेमवर्क, थिएट्रिकल डिस्ट्रीब्यूशन तक पहुंच और दोनों देशों के फिल्म संस्थानों के बीच एकेडमिक एक्सचेंज शामिल हैं।
वैरायटी के अनुसार, आईएफएफआई, भारतीय राष्ट्रीय फिल्म विकास कॉर्पोरेशन (एनएफडीसी) और आईएफएफएम के बीच हुआ समझौता ज्ञापन फेस्टिवल एक्सचेंज, प्रोड्यूसर्स लैब और टैलेंट डेवलपमेंट प्रोग्राम स्थापित करता है।
इसके साथ ही साउथ एशियन फिल्मों को दोनों देशों में सपोर्ट करने के लिए डब्ल्यूएवीईएस बाज़ार-आईएफएफएम को-डिस्ट्रीब्यूशन फंड भी लॉन्च किया गया है। आईएफएफएम में अब स्पेशल स्क्रीनिंग्स और एक क्यूरेटेड "स्पॉटलाइट ऑन इंडिया" सेक्शन भी होगा।
डीकिन यूनिवर्सिटी (मेलबर्न) का फिल्म स्कूल भारत के फिल्म एंड टेलीविज़न इंस्टीट्यूट ऑफ इंडिया (एफटीटीआई) तथा इंडियन इंस्टीट्यूट ऑफ क्रिएटिव टेक्नोलॉजीज़ के साथ करिकुलम सहयोग, फैकल्टी-स्टूडेंट एक्सचेंज और जॉइंट वर्कशॉप के लिए समझौता करेगा। भारत की सबसे बड़ी थिएटर चेन पीवीआर आईएनओएक्स ने ऑस्ट्रेलियाई फिल्मों को देशभर में थिएट्रिकल रिलीज़ देने के लिए माइंड ब्लोइंग फिल्म्स के साथ सहयोग किया है।
विक्टोरिया के क्रिएटिव इंडस्ट्रीज़ मिनिस्टर कॉलिन ब्रूक्स ने इस पार्टनरशिप को आईएफएफएम की अंतरराष्ट्रीय प्रोफाइल के लिए बड़ा बूस्ट बताया और कहा कि इससे ऑस्ट्रेलियाई फिल्ममेकर्स को साल भर फायदा होगा तथा नई पीढ़ी को दुनिया की सबसे बड़ी फिल्म इंडस्ट्री के साथ काम करने के लिए तैयार किया जाएगा।
मेलबर्न के लॉर्ड मेयर निकोलस रीस ने बढ़ते भारतीय डायस्पोरा और स्थानीय दर्शकों की भारतीय सिनेमा में रुचि को इस सहयोग का मुख्य ड्राइवर बताया।
पीवीआर इनॉक्स पिक्चर्स के सीआओ कमल ज्ञानचंदानी ने कहा, "भारतीय दर्शक तेज़ी से ग्लोबल कंटेंट अपना रहे हैं। ऑस्ट्रेलियाई फिल्में अनोखी आवाज़ और सांस्कृतिक समृद्धि लेकर आती हैं।"आईएफएफएम की फेस्टिवल डायरेक्टर और माइंड ब्लोइंग फिल्म्स की संस्थापक मितु भौमिक लांगे ने इस समझौता को दोनों देशों की स्क्रीन इंडस्ट्री के लिए गेम-चेंजर बताया और सहयोग, लेन-देन तथा लंबे समय तक चलने वाले क्रिएटिव विकास के प्रति साझा प्रतिबद्धता पर ज़ोर दिया।
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