आजमगढ़ , अक्टूबर 12 -- उत्तर प्रदेश के आजमगढ़ जिले की पुलिस ने जिला कारागार के सरकारी खाते से पैसा निकालने के मामले में बड़ा खुलासा किया है। इस मामले में आजमगढ़ जिला कारागार में जेल कैदियों एवं जेल के कर्मचारियों ने मिलकर 52 लाख 85 हज़ार रुपये की फर्जी तरीके से निकासी की है इसमें जेल अकाउंटेंट और जेल की चौकीदार की संलिप्तता पाई गई है।
आजमगढ़ पुलिस अधीक्षक नगर मधुबन कुमार सिंह ने पूरे मामले का खुलासा करते हुए रविवार को कहा कि जेल कैदियों ने जेल के इन दोनों कर्मचारियों के साथ मिलकर जेल अधीक्षक के फर्जी हस्ताक्षर से यह सारे पैसे निकाले और आपस में बांट लिए।
पहले अभियुक्त रामजीत यादव के कब्जे से धोखाधड़ी से निकाले गए रूपयें से खरीदी गयी एक मोटरसाइकिल बुलेट व एक मोबाइल बरामद की। बरामद मोबाइल से बैंक चेक की फोटो और बैंक स्टेटमेंट तथा वरिष्ठ अधीक्षक मण्डल जिला कारागार आजमगढ के नाम का एक मोहर बरामद किया।
गिरफ्तार अभियुक्त रामजीत यादव ने 20.जनवरी को अपनी बहन की शादी में गबन के 25 लाख रूपयें खर्च किये तथा बुलेट मोटरसाइकिल 03 लाख 75 हजार रूपयें की खरीदा व 10 लाख रूपयें जो मुकदमें में फंसने के बाद लोगो से कर्ज लिया था उसको चुकतॉ किया। रामजीत यादव के यूनियन बैंक के खाते में शेष 23 हजार रूपयें को होल्ड कराया गया है तथा इसके परिवारजनों के अकाउन्ट डिटेल को चेक कर होल्ड कराने की प्रक्रिया जारी है।
दूसरा अभियुक्त मुशीर अहमद को गबन के 07 लाख रूपयें प्राप्त हुए जो उसने धीरे-धीरे अपने व्यक्तिगत व घरेलु उपयोग में खर्च कर दिया।
तीसरे अभियुक्त शिवशंकर उर्फ लालजी यादव ने अपने गबन से प्राप्त 05 लाख रूपयें को अपने निजी ऐशो आराम और घरेलु उपयोग में खर्च किया।
चौथे अभियुक्त अवधेश कुमार पाण्डेय (चौकीदार) को गबन के 1.5 लाख रूपयें प्राप्त हुए, जिसने अपने व्यक्तिगत व घरेलु उपयोग में खर्च कर दिया।
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