अहिल्यानगर , नवंबर 07 -- सामाजिक कार्यकर्ता अन्ना हजारे ने शनिवार को कहा कि अगर मंत्रियों के बच्चे कदाचार एवं भ्रष्टाचार में लिप्त हैं तो इसकी जिम्मेदारी स्वयं मंत्रियों की है।
श्री हजारे ने आज यहां संवाददाताओं से कहा कि अगर किसी मंत्री का बच्चा गलत काम में लिप्त है तो संबंधित मंत्री को जवाबदेह ठहराया जाना चाहिए ओर ऐसे मामलों में सख्त कार्रवाई करनी चाहिए। उन्होंने व्यक्ति के चरित्र निर्माण में पारिवारिक एवं सामाजिक मूल्यों के महत्व पर बल दिया।
उन्होंने पुणे के कोरेगांव पार्क क्षेत्र में उस कथित भूमि घोटाले पर यह प्रतिक्रिया व्यक्त की जिसमें उपमुख्यमंत्री अजीत पवार और उनके बेटे पार्थ पवार पर अनियमितता का आरोप लगा है।
उन्होंने आगे कहा कि केवल दंडात्मक कार्रवाई काफ़ी नहीं है। श्री हजारे ने कहा, "अगर प्रभावशाली राजनीतिक लोग या उनके सहयोगी भ्रष्टाचार में लिप्त हैं तो सरकार को उनके ख़िलाफ़ सख़्त एवं निष्पक्ष कार्रवाई सुनिश्चित करने के लिए एक विशेष नीति अपनानी चाहिए।"यह विवाद कोरेगांव पार्क में 40 एकड़ भूमि सौदे से संबंधित है, जहां पार्थ पवार से जुड़ी एक कंपनी ने कथित रूप से 1,800 करोड़ रुपये की संपत्ति केवल 300 करोड़ रुपये में खरीद ली और दावा किया था कि यह एक आईटी पार्क और डेटा सेंटर के लिए है।
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