नई दिल्ली, मई 23 -- हिंदू धर्म में भगवान भोलेनाथ की पूजा-आराधना के लिए प्रदोष व्रत का दिन बेहद खास माना जाता है। प्रत्येक माह के शुक्ल पक्ष और कृष्ण पक्ष की त्रयोदशी तिथि को प्रदोष व्रत रखा जाता है। शनिवार के दिन पड़ने के कारण इसे शनि प्रदोष व्रत कहा जाएगा। ज्येष्ठ मास के कृष्ण पक्ष का प्रदोष व्रत 24 मई, शनिवार को है। धार्मिक मान्यताओं के अनुसार शनि प्रदोष व्रत के फल से शनि की साढ़ेसाती का अशुभ प्रभाव भी कम हो जाता है। इस दिन भगवान भोलेनाथ के साथ शनिदेव की पूजा करने का विशेष महत्व है। ऐसा कहा जाता है कि शनि प्रदोष रखने से जातक की हर तरह की मनोकामनाएं पूरी होती हैं। इस व्रत में प्रदोष काल में पूजा करने का बहुत अधिक महत्व होता है। इस समय मेष, कुंभ, मीन राशि पर शनि की साढ़ेसाती चल रही है। शनि की साढ़ेसाती लगने पर व्यक्ति को कई तरह की समस्याओ...