श्रुति कक्कड़, दिसम्बर 12 -- देश में जारी इंडिगो संकट के बीच विमान कंपनी ने दिल्ली हाई कोर्ट में एक याचिका लगाई, जिसमें उसने विदेश से ठीक होकर भारत में दोबारा आयात किए गए एयरक्राफ्ट इंजन और पार्ट्स पर चुकाई गई 900 करोड़ रुपए से ज्यादा की कस्टम ड्यूटी (सीमा शुल्क) को रिफंड करने की मांग की। हालांकि याचिका पर सुनवाई शुरू होने से पहले ही दिल्ली हाई कोर्ट की जज शैल जैन ने शुक्रवार को खुद को इस मामले से अलग कर लिया। यह मामला जस्टिस प्रतिभा एम सिंह और शैल जैन की बेंच के सामने सुनवाई के लिए लिस्टेड था, लेकिन जस्टिस जैन ने सुनवाई से पहले ही खुद को इससे अलग कर लिया क्योंकि उनका बेटा इंडिगो में पायलट के रूप में काम करता है। जिसके बाद इस बारे में जारी अपने ऑर्डर में कोर्ट ने कहा, 'चीफ जस्टिस के ऑर्डर के तहत, इसे एक ऐसी बेंच के सामने लिस्ट किया जाए जि...