भागलपुर, जून 26 -- हिन्दुस्तान प्रतिनिधि। गांधी शांति प्रतिष्ठान केंद्र में बुधवार को आपातकाल की 50वीं वर्षगांठ पर आपातकाल कल और आज विषय पर संगोष्ठी का आयोजन किया गया। वक्ताओं ने आपातकाल के दौर, लोकतंत्र की चुनौतियों और वर्तमान राजनीतिक परिप्रेक्ष्य पर अपने विचार रखे। अध्यक्षता कर रहे प्रकाश चंद्र गुप्ता ने कहा कि 1974 से 1977 तक का आंदोलन आज भी जीवित है। हमने उस आंदोलन में जाति-धर्म से ऊपर उठकर परिवर्तन की लड़ाई लड़ी थी, लेकिन सत्ता में आने के बाद कुछ लोग निरंकुश हो गए। वरिष्ठ सेनानी गणेश दत्त ने जो घर जारे अपना, चलो हमारे साथ के नारे को याद करते हुए कहा कि आज भी लोकतंत्र पर खतरे के बादल मंडरा रहे हैं, बस तरीका बदल गया है। हरिवंश मणि सिंह ने जेपी आंदोलन को याद करते हुए कहा कि जयप्रकाश नारायण ने दो सफल क्रांतियों का नेतृत्व किया। डॉ. उमेश...
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