गोड्डा, जून 30 -- हूल दिवस के अवसर पर सोमवार को स्थानीय एसआरटी कॉलेज धमड़ी में विभिन्न कार्यक्रम आयोजित कर झारखंड के वीर सपूत सिद्धू कान्हू को नमन किया गया। कार्यक्रम के पूर्व महाविद्यालय के प्राचार्य डॉ शंभू सिंह ने उनके चित्र पर माल्यार्पण किया। कहा कि उनका साहस और बलिदान हम सभी के लिए प्रेरणा स्रोत है। इनका त्याग भावी पीढ़ियों को अन्याय के खिलाफ खड़े होने की प्रेरणा देता रहेगा। डॉक्टर सिंह ने कहा कि यह न सिर्फ ऐतिहासिक घटना है, अपितु आदिवासी समाज की चेतना और आत्म सम्मान की पहचान भी है। 1855 में सिद्धू कान्हू के नेतृत्व में हुए संथाल विद्रोह की याद में मनाया जाने वाला हूल दिवस, जल जंगल जमीन और आदिवासी स्मिता की रक्षा के लिए अंग्रेजी हुकूमत से लड़ा गया था। आदिवासी समाज इसे स्वाभिमान और बलिदान के प्रतीक के रूप में याद करता है। इस अवसर पर ...