प्रयागराज, मई 10 -- प्रयागराज। दुनिया के सबसे बड़े लोकतंत्र को जीवंत बनाए रखने में गुमनाम प्रत्याशियों की भूमिका को शायद ही नजरअंदाज किया जा सके। अपनी धुन के पक्के कुछ उम्मीदवार ऐसे भी हैं जो हार-जीत की परवाह किए बगैर हर चुनाव में मैदान में दिख जाते हैं। अपनी विचारधारा के प्रति समर्पित ऐसे प्रत्याशी संविधान की उस भावना के झंडाबरदार हैं जो चुनाव प्रक्रिया में हर व्यक्ति को समान अधिकार देती है। करोड़पति प्रत्याशियों से मुकाबिल छेद्दू जैसे साइकिल सवार उम्मीदवार लोकतंत्र की लौ जलाए नजर आते हैं।ऐसे प्रत्याशियों की फेहरिस्त में पहला नाम दूसरी आजादी आंदोलन के डॉ. नीरज का आता है। 1998 से फूलपुर सीट से लड़ते आ रहे डॉ. नीरज का कहना है कि आजाद देश में पैदा होने वाले हर बच्चे का सुरक्षित करना उनका मकसद है। समाजसेवा, मकान के किराए और पेंशन से भरणपोषण ...