कानपुर, नवम्बर 8 -- कानपुर देहात,संवाददाता। जिले में हाईवे व प्रमुख सड़कों पर घूमने वाले अन्ना गोवंश व गलियों में डेरा जमाए आवारा कुत्ते राहगीरों किसानों व आम लोगों के लिए खतरा बने हुए हैं। सुप्रीम कोर्ट ने भले ही इन पर आठ हफ्ते में नियंत्रण का आदेश दिया है,लेकिन जिम्मेदारों की लाचर कार्यशैली, पर्याप्त गो-आश्रयगृहों का अभाव व आवारा कुत्तों के लिए शेल्टर हाउस की व्यवस्था ही नहीं होने से तय समय सीमा में सुप्रीम कोर्ट आदेश के अनुपालन को लेकर संशय बना है। अन्ना गोावंश संरक्षण के दावे फेल,हादसों पर भी हो रही अनदेखी जिले में इस समय 94 गो-आश्रय गृहों मे 10733 गोवंश संरक्षित बताए जा रहे हैं। जबकि सहभागिता के आधार पर पशु पालकों के यहां 1322 गोवंश संरक्षित हैं। वहीं करीब दस हजार गोवंश अभी भी अन्ना घूम रहे हैं। अन्ना गोवंश के संरक्षण के दावे यहां हवा...