गया, नवम्बर 24 -- भारतीय संविधान की प्रस्तावना के वाक्यांश ''हम, भारत के लोग'' लोकतांत्रिक संप्रभुता का सर्वाधिक शक्तिशाली स्तंभ है, जो संविधान की आत्मा को परिभाषित करता है। उक्त वक्तव्य दक्षिण बिहार केन्द्रीय विश्वविद्यालय (सीयूएसबी) के कुलपति प्रो. कामेश्वर नाथ सिंह ने स्कूल ऑफ लॉ एंड गवर्नेंस (एसएलजी) की ओर से आयोजित 76वें संविधान दिवस के उद्घाटन समारोह में कही। कुलपति प्रो. सिंह ने कहा कि इस सप्ताह का उद्देश्य केवल औपचारिक उत्सव नहीं, बल्कि छात्रों में संवैधानिक चेतना को गहरा करना और अकादमिक ज्ञान को व्यवहारिक समझ में बदलना है। उन्होंने यह भी उल्लेख किया कि कई देशों विशेषकर नेपाल में संवैधानिक अस्थिरता देखने को मिलती है, जबकि भारत का संविधान एक जीवंत, विकसित होता दस्तावेज है। कुलपति प्रो कामेश्वर नाथ सिंह के साथ मंच पर प्रो. पवन कुमार...