हरिद्वार, मार्च 8 -- उत्तराखंड संस्कृत विश्वविद्यालय में अंतर्राष्ट्रीय महिला दिवस पर महिला प्रकोष्ठ ने राष्ट्रीय संगोष्ठी आयोजित की। जिसमें विवि के कुलपति प्रो. दिनेश चंद्र शास्त्री ने कहा कि 19वीं शताब्दी में जब महिलाएं देश में समानता के अधिकार से वंचित थीं, तब स्वामी दयानंद ने उन्हें शिक्षा का अधिकार दिलाकर एक अविस्मरणीय योगदान दिया था। महिला प्रकोष्ठ की संयोजक डॉ. श्वेता अवस्थी ने अतिथियों का स्वागत किया। मुख्य वक्ता एमबीपीजी कॉलेज हल्द्वानी की प्रो. प्रभा पंत ने कहा कि महिला और पुरुष समाज के दो ऐसे पक्ष हैं, जिन्हें एक दूसरे के साथ तालमेल बिठाकर आगे बढ़ना चाहिए। आज समाज में यह दोनों वर्ग एक दूसरे को प्रतिद्वंद्वी के रूप में देख रहे हैं, जो समाज के लिए हितकर नहीं है। इस मौके पर राजकीय कॉलेज ऑफ एजुकेशन जम्मू की डॉ. शालिनी राणा, डॉ. विन...