बुलंदशहर, अगस्त 15 -- पूरे देश में 15 अगस्त का दिन आजादी के जश्न के रूप में मनाया जाता है। नरसेना क्षेत्र के गांव खंदोई में आजादी 79 साल बाद भी यहां की मिट्टी, पेड़ पौधे, सड़कों, पुरानी इमारत और पगडंडियों में आजादी के दीवानों की यादें बसी हुई है। 9 अगस्त 1942 को गांधी जी द्वारा दिए गए नारे अंग्रेजों भारत छोड़ो से प्रेरित होकर गांव खंदोई में आजादी के दीवानों की टोली ने अंग्रेजी कोर्ट को फूंक कर उनके खिलाफ बगावत का बिगुल बजा दिया था। इस लड़ाई में 14 साल के युवा भी कूद पड़े थे। अंग्रेजी हुकूमत के खिलाफ लामबंद होकर क्रांतिकारियों ने टेलीफोन लाइन के तार काटकर उनके नेटवर्क भी ध्वस्त कर दिया। अंग्रेजों के ऊपर तेजाब डाल दिया था। इस गांव के क्रांतिकारियों की शौर्य गाथा अमेरिका से लेकर स्विट्जरलैंड तक पढ़ाई जा रही है। 21 अगस्त 1942 को स्वतंत्रता सं...
Click here to read full article from source
To read the full article or to get the complete feed from this publication, please
Contact Us.