एटा, सितम्बर 24 -- सैनिक पड़ाव स्थित मंच पर आयोजित हो रहे भव्य रामलीला महोत्सव में आठवें दिन का मंचन अत्यंत भावुक और मार्मिक दृश्यों से भरा रहा। श्रीज्ञान प्रकाश लीला मंडल के कलाकारों ने अपनी जीवंत प्रस्तुति से भगवान राम के वनगमन से जुड़े तीन प्रमुख प्रसंगों, सुमंत विदाई, राम-केवट संवाद, और भारद्धाज ऋषि आश्रम गमन को साकार कर दिया। लीला की शुरुआत में सबसे पहले सुमंत विदाई का मार्मिक मंचन हुआ। रथ हांककर राम, सीता और लक्ष्मण को गंगा तट तक छोड़ने आए सारथी सुमंत का वापस अयोध्या लौटने का दृश्य दर्शकों की आंखें नम कर गया। वनवास के लिए जा रहे अपने प्रिय राजकुमार को छोड़ना उनके लिए कितना कष्टकारी था, कलाकारों ने इस वियोग को कुशलता से दर्शाया। भगवान राम ने जब सुमंत को यह कहकर वापस लौटाया कि वे पिता दशरथ को दिलासा दें, तो दर्शक भी इस भावनात्मक क्षण ...