खगडि़या, मई 10 -- अलौली। एक प्रतिनिधि सामुदायिक स्वास्थ्य केन्द्र में पिछले एक दशक में सरकार एवं स्वास्थ्य विभाग की ओर से काफी संसाधन उपलब्ध कराया जा चुका है। साधन उपलब्ध रहते हुए भी उसके अनुरूप मरीजों को लाभ नहीं मिल पा रहा है। सप्ताह के अधिकांश दिन आयुष चिकित्सक के भरोसे अस्पताल चलता है। अलबत्ता बात यह है कि मैनेजमेंट के पास दो तरह के चिकितसक रोस्टर होते है। एक वह जो कार्यालय के बाबू लोग छुपाकर रखते हैं। दूसरा वह रोस्टर होता है जो प्रतिदिन बनता और मिटता है। कहने का स्पष्ट मतलब है कि आज हम बता नहीं सकते कि कल कौन डॉक्टर ओपीडी मे रहेंगे। एक डॉक्टर घंटों लगातार ड्यूटी में काम करते हैं। जबकि कहा जाता है कि रात की डयूटी करने वालों को अगले दिन की छुट्टी रहती है। यहां मुख्य रूप से डॉ रेखा कुमारी, डॉ राजीव रंजन व डॉ अमित कुमार जो एमबीबीएस है जि...
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